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राजस्थान स्टेट पी.सी.एस.

  • 16 Jun 2025
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पोखरण में रुद्रास्त्र UAV का सफल परीक्षण

चर्चा में क्यों?

भारतीय सेना ने राजस्थान के पोखरण में रुद्रस्त्र हाइब्रिड वर्टिकल टेक-ऑफ एंड लैंडिंग (VTOL) UAV का सफलतापूर्वक परीक्षण किया।

मुख्य बिंदु

  • रुद्रस्त्र UAV की मुख्य विशेषताएँ और क्षमताएँ:
    • स्वदेशी VTOL UAV का नाम रुद्रस्त्र रखा गया है, जो आत्मनिर्भरता की शक्ति का प्रतीक है।
    • परीक्षणों के दौरान प्रदर्शित प्रमुख विशेषताएँ इस प्रकार थीं:
      • ऊर्ध्वाधर टेक-ऑफ और लैंडिंग (VTOL)
      • दीर्घ-धीरज मिशन
      • वास्तविक समय वीडियो प्रसारण
      • सटीक संलग्नता
      • ऊबड़-खाबड़ क्षेत्रों में परिचालन लचीलापन
  • परीक्षण प्रदर्शन:
    • रुद्रस्त्र ने पूरे मिशन के दौरान स्थिर वास्तविक समय वीडियो लिंक बनाए रखा।
    • इसने 50 किमी. से अधिक के मिशन दायरे में सफलतापूर्वक कार्य किया और प्रक्षेपण स्थल पर बिना किसी समस्या के लौट आया
    • लक्ष्य पर निगरानी सहित UAV ने लगभग 1.5 घंटे की क्षमता के साथ 170 किमी. से अधिक की दूरी तय की।
  • अनुप्रयोग और रणनीतिक उपयोगिता:
    • रुद्रस्त्र का उपयोग निगरानी, गुप्त सूचनाएँ एकत्र करने और लक्ष्य भेदन के लिये किया जा सकता है, जिससे यह पहाड़ी या दुर्गम क्षेत्रों के लिये आदर्श है।
    • VTOL UAV को उड़ान भरने अथवा उतरने के लिये रनवे की आवश्यकता नहीं होती, जिससे इन्हें विविध परिचालन परिवेशों में शीघ्र तैनाती हेतु अपेक्षित लचीलापन प्राप्त होता है।
  • ऑपरेशन सिंदूर के बाद भारत का उन्नत UAV पर ज़ोर:
    • ऑपरेशन सिंदूर भारत का पहला बड़े पैमाने पर गैर-संपर्क सैन्य अभियान था, जिसमें ड्रोन, मिसाइलों और सटीक हथियारों का प्रयोग किया गया।
    • इस अनुभव ने आधुनिक युद्ध परिदृश्यों में उन्नत UAV क्षमताओं की अत्यधिक आवश्यकता को उजागर किया।
    • इसके जवाब में भारतीय सेना ने भविष्य के ऐसे ही गैर-संपर्क खतरों के विरुद्ध भारत की तैयारी को सशक्त करने हेतु अधिक UAV को शामिल करने के प्रयास तेज़ कर दिये हैं।


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