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राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार बोर्ड

  • 02 May 2025
  • 2 min read

स्रोत: द हिंदू

सरकार ने राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार बोर्ड (NSAB) का पुनर्गठन किया है जिसमें नए सदस्यों की नियुक्ति की गई है। इसमें पूर्व रिसर्च एंड एनालिसिस विंग (R&AW) प्रमुख आलोक जोशी को अध्यक्ष बनाया गया है। इसके अलावा 7 अन्य सदस्य भी शामिल हैं। ऐसा पहलगाम आतंकी हमले पर भारत की प्रतिक्रिया पर बढ़ती चर्चाओं के बीच किया गया है।

  • राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार बोर्ड: वर्ष 1998 में स्थापित, यह राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद सचिवालय (NSCS) के अधीन कार्यरत है तथा दो अन्य प्रमुख निकायों; सामरिक नीतिगत समूह (SPG) और संयुक्त खुफिया समिति (JIC) के साथ मिलकर कार्य करता है।
  • कार्य: NSAB द्वारा राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद (NSC) को बाहरी खतरों, आंतरिक स्थिरता और उभरती चुनौतियों पर सलाह दी जाती है। इसके द्वारा स्वतंत्र, दीर्घकालिक विश्लेषण प्रदान करने के साथ नीतिगत विकल्पों की सिफारिश की जाती है।
    • NSAB ने परमाणु नीति (2001) और राष्ट्रीय सुरक्षा समीक्षा (2007) में योगदान दिया है।
  • संरचना: NSAB का नेतृत्व एक अध्यक्ष द्वारा किया जाता है जो आमतौर पर एक पूर्व वरिष्ठ अधिकारी होता है और इसमें कूटनीति, सैन्य, शिक्षा, अर्थशास्त्र तथा विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी जैसे विविध क्षेत्रों के सदस्य शामिल होते हैं। 
    • NSAB में सदस्यों की संख्या निश्चित नहीं होती है जिससे राष्ट्रीय सुरक्षा आवश्यकताओं के आधार पर इसके गठन में लचीलापन बना रहता है।
  • कार्यकाल: बोर्ड के सदस्यों की नियुक्ति दो वर्ष के कार्यकाल के लिये की जाती है।

और पढ़ें: NSA कार्यालय एवं देश के सुरक्षा ढाँचे का पुनर्गठन

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