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H5N1 बर्ड फ्लू

  • 29 Mar 2024
  • 5 min read

स्रोत: इंडियन एक्सप्रेस 

H5N1 बर्ड फ्लू, एक अत्यधिक रोगजनक जीवाणु है जिसका विश्व स्तर पर तीव्रता से संचरण हो रहा है। वर्तमान समय में यह पक्षियों और वन्यजीवों के लिये एक गंभीर खतरा बन गया है।

H5B1 बर्ड फ्लू क्या है?

  • पृष्ठभूमि:
    • एवियन इन्फ्लूएंज़ा A(H5N1) अथवा H5B1 बर्ड फ्लू एक अत्यधिक रोगजनक जीवाणु है जो मुख्य रूप से पक्षियों में संचरित होता है किंतु स्तनधारियों को संक्रमित कर सकता है।
    • H5N1 की उत्पत्ति वर्ष 1996 में चीन में एक जीवाणु के प्रकोप से हुई और तेज़ी से एक अत्यधिक रोगजनक प्रभेद (Strain) में विकसित हुआ।
    • वर्ष 2020 के बाद से, यह यूरोप, अफ्रीका, एशिया, उत्तरी अमेरिका, दक्षिण अमेरिका और अंटार्कटिका में फैल गया।
    • भारत में वर्ष 2015 में महाराष्ट्र और गुजरात राज्य में H5N1 संक्रमण का पहला मामला दर्ज किया गया।
  • पशुओं पर प्रभाव:
    • वन्य पक्षी, जिनमें कैलिफोर्निया कोंडोर जैसी संकटापन्न जातियाँ भी शामिल हैं, H5N1 से गंभीर रूप से प्रभावित हुए हैं।
    • इसके प्रभावित होने वाली मुख्य प्रजाति मुर्गी थी।
    • सी-लायन्स और डॉल्फिन जैसे समुद्री स्तनधारियों को चिली तथा पेरू जैसे क्षेत्रों में बड़े पैमाने पर मौत का सामना करना पड़ा है। 
    • उत्तरी अमेरिका में लोमड़ी, प्यूमा, भालू जैसे स्तनधारी और स्पेन व फिनलैंड में फार्म मिंक भी संक्रमित हो गए हैं।

  • मानव जोखिम और प्रसार कारक:
    • दुर्लभ होते हुए भी, मनुष्य मुख्य रूप से संक्रमित पक्षियों के संपर्क के माध्यम से बर्ड फ्लू से संक्रमित हो सकते हैं।
    • जलवायु परिवर्तन से वायरस का प्रसार बढ़ सकता है, पक्षियों के व्यवहार में बदलाव आ सकता है और पक्षियों की प्रजातियों के बीच मेल-जोल बढ़ सकता है।
  • विश्व स्वास्थ्य संगठन जोखिम मूल्यांकन:
    • हालाँकि यह वायरस मनुष्यों को आसानी से संक्रमित नहीं करता है, फिर भी छिटपुट मामले सामने आते रहते हैं, जो मुख्य रूप से पोल्ट्री एक्सपोज़र से जुड़े होते हैं।
    • मानव-से-मानव में संचरण दुर्लभ है, लेकिन आगे के मामलों की संभावना मौजूद है, खासकर उन क्षेत्रों में जहाँ वायरस पोल्ट्री में स्थानिक है।
    • WHO सामान्य आबादी के लिये समग्र जोखिम को कम मानता है लेकिन निगरानी एवं जोखिम प्रबंधन के महत्त्व पर बल देता है।
  • निवारक उपाय और सिफारिशें:
    • WHO जनता को जीवित पशु बाज़ारों जैसे उच्च जोखिम वाले वातावरण से बचने और हाथ की स्वच्छता का अभ्यास करने की सलाह देता है।
    • बीमार पशुओं की तुरंत सूचना देने और बीमार मुर्गों के सेवन से बचने की सलाह दी जाती है।
    • संक्रमित पक्षियों या वातावरण के संपर्क में आने वाले व्यक्तियों को तुरंत चिकित्सा देखभाल लेनी चाहिये।

  UPSC सिविल सेवा परीक्षा, विगत वर्ष के प्रश्न   

प्रिलिम्स:

प्रश्न. H1N1 विषाणु का प्रायः समाचारों में निम्नलिखित में से किस एक बीमारी के संदर्भ में उल्लेख किया जाता है? (2015)

(a) एड्स (AIDS)
(b) बर्ड फलू
(c) डेंगू
(d) स्वाइन फ्लू

उत्तर: (d)


प्रश्न. निम्नलिखित कथनों में से कौन-सा/से सही है/हैं? (2016)

  1. वायरस संक्रमित कर सकते हैं: 
  2. जीवाणुओं को 
  3. कवकों को 
  4. पादपों को 

नीचे दिये गए कूट का उपयोग करके सही उत्तर चुनिये:

(a) केवल 1 और 2
(b) केवल 3
(c) केवल 1 और 3
(d) 1, 2 और 3

उत्तर: (d)

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