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स्टेट पी.सी.एस.

  • 09 Mar 2023
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मध्य प्रदेश Switch to English

महिलाओं के उत्थान और कल्याण हेतु लिये गए अनेक महत्त्वपूर्ण निर्णय

चर्चा में क्यों?

8 मार्च, 2023 को मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस पर ट्वीट कर बताया कि प्रदेश की सभी महिलाओं के उत्थान और कल्याण हेतु अनेक महत्त्वपूर्ण निर्णय लिये गए हैं।

प्रमुख बिंदु

  • मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने बताया कि अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर महिला कर्मचारियों को 7 दिवस का अतिरिक्त आकस्मिक अवकाश दिया जाएगा, जिसे वे अपनी आवश्यकता अनुरूप उपयोग कर सकेंगी।
  • उन्होंने बताया कि कक्षा 10वीं के बाद उच्चतर, माध्यमिक एवं कॉलेज में बेटियों को वित्तीय साक्षरता के लिये पाठ पढ़ाया जाएगा, जो महिला उन्मुखी होगा।
  • मुख्यमंत्री ने बताया कि राज्य की तकनीकी शिक्षण संस्थाओं में अध्ययनरत् छात्राओं को रोज़गार दिलवाने के उद्देश्य से विशेष प्रशिक्षण और जॉब फेयर आयोजित किये जाएंगे। इसके अलावा छात्राओं को डिजिटल एवं वित्तीय साक्षरता, अंग्रेज़ी, कम्युनिकेशन और वर्क रेडीनेस का 60 से 80 घंटे का प्रशिक्षण दिया जाएगा।
  • उन्होंने बताया कि बालिकाओं के लिये स्किल ट्रेनिंग की व्यवस्था भी की जाएगी, जिसमें हैंडलूम, कढ़ाई, पारंपरिक लोक कलाओं की ट्रेनिंग शामिल होगी।
  • प्रदेश की महिला हथकरघा एवं हस्तशिल्प कारीगरों को एनआईडी और निफ्ट संस्थानों के माध्यम से आधुनिक डिज़ाइंस और उन्नत तकनीक का प्रशिक्षण प्रदान कराया जाएगा।

मध्य प्रदेश Switch to English

धर्मपाल राष्ट्रीय सम्मान एवं पुरस्कारों की स्थापना

चर्चा में क्यों?

7 मार्च, 2023 को मध्य प्रदेश की संस्कृति, पर्यटन और धार्मिक न्यास एवं धर्मस्व मंत्री ऊषा ठाकुर ने बताया कि प्रदेश के संस्कृति विभाग द्वारा स्वराज संस्थान संचालनालय के अधीन धर्मपाल शोधपीठ के अंतर्गत 5 लाख रुपए का एक धर्मपाल राष्ट्रीय सम्मान एवं दो-दो लाख प्रति पुरस्कार के तीन धर्मपाल राष्ट्रीय पुरस्कार स्थापित किये जा रहे हैं।

प्रमुख बिंदु

  • उल्लेखनीय है कि आज़ादी के अमृत महोत्सव के अंतर्गत विख्यात चिंतक, इतिहासकार एवं विचारक धर्मपाल के जन्म शताब्दी वर्ष पर यह निर्णय लिया गया है।
  • प्रदेश की संस्कृति, पर्यटन और धर्मस्व मंत्री ऊषा ठाकुर ने बताया कि धर्मपाल राष्ट्रीय सम्मान में भारतीय इतिहास, शिक्षा एवं धर्मपाल के विचारों के प्रतिपादन के लिये किये गए उल्लेखनीय कार्य एवं योगदान हेतु व्यक्ति/संस्था को सम्मानित किया जाएगा।
  • इसके अलावा आधुनिक भारत के राजनीतिक, सामाजिक और आर्थिक इतिहास पर मौलिक कार्य, ऐतिहासिक दस्तावेज़ों के संरक्षण, परिरक्षण, दस्तावेज़ीकरण, अनुवाद, प्रचार-प्रसार और ग्राम स्वराज, ग्रामीण विकास, सामाजिक सरोकार एवं स्वदेशी जैसे भारतीय विचारों के क्रियान्वयन के क्षेत्र में सक्रिय व्यक्तियों एवं संस्थाओं को धर्मपाल राष्ट्रीय पुरस्कारों से पुरस्कृत किया जा सकेगा।
  • ऊषा ठाकुर ने बताया कि वर्ष 2022-23 में 6 लाख रुपए की 5 सीनियर फैलोशिप तथा 4 लाख 32 हज़ार रुपए की सात जूनियर फैलोशिप भी घोषित की गई है।
  • पाँच सीनियर फैलोशिप के लिये आमंत्रित प्रस्तावों में 18वीं शताब्दी का भारत, भारत और यूरोप, भारत के अंतर्राष्ट्रीय संबंधों की ऐतिहासिकता, भारतीय परंपरा में समाज और राज-व्यवस्था, औपनिवेशिकता से मुक्ति और भारतीय स्वतंत्र, भारतवर्ष की सामाजिक संरचना, अंतर्संबंध और सामुदायिक संस्कृतियाँ, भारत की पंचायती व्यवस्था का इतिहास, भारत की जनपदीय शिक्षा प्रणाली, पशुचारक-संस्कृति (गोधन संस्कृति) और भारतीय अर्थतंत्र, घुमंतु (विमुक्त एवं अर्द्ध घुमंतु) समुदायों की जीवन-संस्कृति आदि विषय शामिल हैं।
  • सात जूनियर फैलोशिप के लिये आमंत्रित प्रस्तावों में मध्य भारत की स्थानिक गाथा-आख्यान परंपराएँ और वाचिक इतिहास, मध्य भारत में विज्ञान और तकनीकी कौशल परंपराएँ, मध्य भारत का भाषा परिवार और उनकी पहचान, मध्य भारत में जातीय कौशल: कला, शिल्प, विज्ञान, मध्य भारत में स्थानीय औषधीय व वैद्यकीय ज्ञान परंपरा, मध्य भारत की देशज भैषज्य ज्ञान संपदा, राष्ट्र-निर्माण में घुमंतु समुदायों का अवदान, मध्य भारत की अरण्यक जीवन-संस्कृति एवं धरोहर आदि विषय शामिल किये गए हैं।

हरियाणा Switch to English

व्यापक कैशलेस स्वास्थ्य बीमा योजना (सीसीएचआईएस) तैयार

चर्चा में क्यों?

7 मार्च, 2023 को हरियाणा के मुख्य सचिव संजीव कौशल ने चंडीगढ़ में हुई सीसीएचआईएस योजना के क्रियान्वयन की प्रगति की समीक्षा बैठक में बताया कि हरियाणा स्वास्थ्य विभाग द्वारा एक व्यापक कैशलेस स्वास्थ्य बीमा योजना (सीसीएचआईएस) तैयार की गई है, जिसे जल्द ही मुख्यमंत्री के समक्ष मंज़ूरी के लिये पेश किया जाएगा।

प्रमुख बिंदु

  • मुख्य सचिव संजीव कौशल ने बताया कि इस योजना से बोर्डों और निगमों सहित लगभग 3.35 लाख परिवार (लगभग 14.30 लाख व्यक्ति) कर्मचारी लाभान्वित होने की उम्मीद है।
  • इसके अलावा, पेंशनधारकों के 3.05 लाख परिवार (6.10 लाख व्यक्ति), मान्यता प्राप्त मीडियाकर्मियों के 1200 परिवार (लगभग 4800 व्यक्ति), आज़ाद हिंद फौज के सैनिकों के 424 परिवार (848 व्यक्ति), हिन्दी आंदोलन से जुड़े 186 परिवार (372 व्यक्ति), आपातकाल के दौरान जेल में बंद 555 परिवार (1,110 व्यक्ति) और दूसरे विश्व युद्ध के दौरान जेल में बंद 614 परिवार (1228) इस योजना से लाभान्वित होंगे।
  • इस व्यापक कैशलेस स्वास्थ्य बीमा योजना के तहत कुल 6 लाख 52 हज़ार परिवारों (20.48 लाख व्यक्ति) को कवर किये जाने की उम्मीद है।
  • स्वास्थ्य विभाग के विशेष सचिव प्रभजोत सिंह ने बताया कि विभिन्न विभागों, बोर्डों और निगमों से इस योजना के संबंध में टिप्पणियाँ व सुझाव मांगे जा चुके हैं। इनके अलावा विभागों, विश्वविद्यालयों, बोर्डों निगम, मिनिस्टीरियल एजुकेशन कर्मचारियों के विभिन्न कर्मचारी और पेंशनधारक यूनियनों के भी सुझाव लिये गए।
  • उल्लेखनीय है कि इस योजना का ड्राफ्ट पावर पॉइंट प्रेजेंटेशन तथा प्रस्ताव को व्यापक विचार-विमर्श के लिये मुख्य सचिव की वेबसाइट पर भी रखा गया था।

झारखंड Switch to English

‘मुख्यमंत्री स्पेशल स्कॉलरशिप’ योजना

चर्चा में क्यों?

हाल ही में झारखंड शिक्षा परियोजना परिषद की निदेशक किरण कुमारी पासी ने बताया कि झारखंड के सरकारी स्कूलों में पहली से 12वीं कक्षा तक पढ़ने वाले सामान्य वर्ग के छात्र-छात्राओं को ‘मुख्यमंत्री विशेष छात्रवृत्ति’योजना का लाभ दिया जाएगा।

प्रमुख बिंदु

  • राज्य परियोजना निदेशक किरण कुमारी पासी ने बताया कि ‘मुख्यमंत्री विशेष छात्रवृत्ति’ योजना के लिये राज्य के 1,47,928 छात्र-छात्राओं का चयन किया गया है। इन्हें मार्च में ही छात्रवृत्ति की राशि का भुगतान किया जाएगा।
  • योजना के तहत पहली से चौथी कक्षा तक 500 रुपए, पाँचवीं और 6वीं में पढ़ने वालों को 1 हज़ार, कक्षा 7-10 तक के छात्र-छात्राओं को 1500 और इंटरमीडिएट के स्टूडेंट्स को 2300 रुपए मिलेंगे।
  • किरण कुमारी पासी ने बताया कि पहली से 12वीं में पढ़ने वाले सामान्य वर्ग के वैसे छात्र-छात्रा, जिन्हें अन्य कोई छात्रवृत्ति का लाभ नहीं मिल रहा है, उन्हें यह सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी।
  • वित्तीय वर्ष 2022-23 से राज्य सरकार के द्वारा ऑनलाइन ऐप के माध्यम से छात्र-छात्राओं को छात्रवृत्ति की राशि उपलब्ध कराए जाने का प्रयास किया जा रहा है। छात्र-छात्राओं को छात्रवृत्ति के लिये पीएफएमएस- डीबीटी के माध्यम से राशि उपलब्ध कराई जाएगी।

छत्तीसगढ़ Switch to English

स्कूल शिक्षा विभाग को मिला एमबिलियंथ अवॉर्ड

चर्चा में क्यों?

6 मार्च, 2023 को नई दिल्ली में आयोजित कार्यक्रम में छत्तीसगढ़ में स्कूल शिक्षा के क्षेत्र में ‘निकलर ऐप’ द्वारा पढ़ाई कराने के लिये स्कूल शिक्षा विभाग को एमबिलियंथ पुरस्कार से नवाजा गया।

प्रमुख बिंदु

  • गौरतलब है कि साउथ एशिया में एमबिलियंथ अवॉर्ड मोबाइल के माध्यम से आम जनता तक तकनीकी का उपयोग कर जीवन सुगम बनाने की दिशा में किये जा रहे नवाचारों को सम्मानित करता है, जिसकी शुरुआत 2010 से की गई थी, सम्मान देने की यह 12वीं श्रृंखला है।
  • छत्तीसगढ़ में स्कूल शिक्षा विभाग और एनआईसी ने भी शिक्षकों के आकलन संबंधी कार्य को आसान करने के लिये लंबी रिसर्च करते हुए निकलर ऐप का निर्माण किया है।
  • इस टेक्नोलॉजी का उपयोग शिक्षकों के कार्यों को आसान करने हेतु किया जाता है। ऐप के उपयोग के लिये सबसे पहले गूगल प्ले स्टोर में जाकर निकलर ऐप को डाउनलोड करना होता है।
  • स्कूल के यू-डाइस के आधार पर पोर्टल से विद्यार्थियों के लिये क्यूआर कोड वाले कार्ड डाउनलोड कर उसे एक पुठ्ठे में चिपकाना पड़ता है। प्रत्येक विद्यार्थी के लिये इस प्रकार से एक यूनिक कार्ड उनके नाम से देना होता है। इसे आपस में बदलना नहीं चाहिये। यह उस बच्चे के नाम से उसके पास पूरे सत्र में रहना चाहिये।
  • किसी टॉपिक को पढ़ाने के बाद प्रश्न पूछना हो तो निकलर ऐप में उस पाठ से संबंधित उपलब्ध प्रश्न निकालकर पूछ सकते हैं या फिर स्वयं अपने प्रश्न दे सकते हैं। पूछे जाने वाले प्रश्न के चार विकल्प होने चाहिये। बच्चों को सही विकल्प के आधार पर कैसे कार्ड को पकड़ना है, यह सिखाना होगा।
  • निकलर ऐप का उपयोग कर बच्चों की उपस्थिति भी ली जा सकती है। इस ऐप के माध्यम से पूछे जाने वाले विभिन्न प्रश्नों के ऑडियो भी बनाकर प्रश्न पूछ सकते हैं। ऐप के उपयोग में कुछ भी दिक्कत आती है तो शिक्षकों के बीच से ही तकनीकी रूप से विशेषज्ञ शिक्षक उनके हेल्प वीडियो बनाकर सहायता करते हैं, जिससे कक्षा में इसको क्रियान्वित करना आसान हो गया है।
  • समग्र शिक्षा की ओर से इस ऐप के उपयोग हेतु निरंतर आवश्यक सहयोग प्रदान किया जा रहा है। इस वर्ष सभी स्कूलों को इंटरनेट के लिये बजट भी उपलब्ध करवाया गया है। शिक्षकों को निकलर ऐप के उपयोग के लिये प्रशिक्षित भी किया गया है।
  • विदित है कि मुख्यमंत्री भूपेश बघेल द्वारा 14 नवंबर, 2022 को लॉन्च किये गए सुघ्घर पढ़वैया कार्यक्रम में भी स्कूलों का आकलन निकलर ऐप के माध्यम से बहुत कम समय में किया जा सकेगा। इसके लिये भी शिक्षकों को तैयार किया जा रहा है।

उत्तराखंड Switch to English

उत्तराखंड के सभी मेडिकल कॉलेजों में खुलेगी कैथ लैब

चर्चा में क्यों?

7 मार्च, 2023 को उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने जन-औषधि दिवस के अवसर पर देहरादून स्थित मुख्य सेवा सदन में आयोजित कार्यक्रम में प्रदेश के सभी राजकीय मेडिकल कॉलेजों में कैथ लैब स्थापित करने की घोषणा की।

प्रमुख बिंदु

  • कार्यक्रम में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने बताया कि प्रदेश के सभी ज़िला व मेडिकल कॉलेज और अस्पतालों में एमआरआई व सिटी स्कैन की पूरी व्यवस्था की जाएगी। इसके साथ ही टेक्नीशियन की कमी को पूरा किया जाएगा।
  • कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ने 2022-23 में जन-औषधि के क्षेत्र में श्रेष्ठ कार्य करने वाले डॉ.पुनीत धमीजा, जन-औषधि मित्र के रूप में श्रेष्ठ कार्य करने वाले मुकुल अग्रवाल और जन-औषधि ज्योति के क्षेत्र में श्रेष्ठ कार्य करने वालीं कुसुम गोयल को सम्मानित किया।
  • इस अवसर पर प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री डॉ.धन सिंह रावत ने बताया कि राज्य में जो भी जन-औषधि केंद्र खोले जा रहे हैं, उनमें सरकार पाँच लाख रुपए की सहायता दे रही है। 225 जन-औषधि केंद्र खोले जा चुके हैं तथा राज्य को अभी 400 जन-औषधि केंद्र खोलने का लक्ष्य मिला है।
  • उन्होंने बताया कि राज्य की सभी 670 न्याय पंचायतों में को-ऑपरेटिव सोसाइटी में एक-एक जन-औषधि केंद्र खोला जाएगा।
  • मुख्यमंत्री ने बताया कि वर्तमान में जन-औषधि योजना सेवा और रोज़गार दोनों का एक सशक्त माध्यम बन गई है। इस योजना से सिर्फ पुरुषों को ही नहीं, बल्कि महिलाओं को भी बहुत लाभ हुआ है। देशभर में एक हज़ार से ज्यादा जन-औषधि केंद्र तो ऐसे हैं, जिन्हें सिर्फ महिलाएँ ही चला रही हैं। यह योजना बेटियों की आत्मनिर्भरता को भी बल दे रही है।
  • प्रदेश में अभी तक आयुष्मान योजना में केंद्र सरकार के सहयोग से 70 हेल्थ एवं वेलनेस केंद्र स्थापित किये जा चुके हैं। इन केंद्रों में जन-सामान्य की चिकित्सा सुविधा के लिये योग, आयुर्वेद, पंचकर्म से संबंधित सभी सेवाओं के साथ-साथ लैब टेस्टिंग जैसी सुविधाओं और जन-औषधि केंद्र को भी जोड़ा गया है।


उत्तराखंड Switch to English

मुख्यमंत्री एकल महिला सशक्त स्वरोज़गार योजना

चर्चा में क्यों?

7 मार्च, 2023 को उत्तराखंड की महिला सशक्तीकरण एवं बाल विकास मंत्री रेखा आर्य ने बताया कि मुख्यमंत्री ने एकल महिलाओं को आत्मनिर्भर और सशक्त बनाने के लिये उन्हें गाँव में ही स्वरोज़गार देने हेतु ‘मुख्यमंत्री एकल महिला सशक्त स्वरोज़गार योजना’ की घोषणा की है।

प्रमुख बिंदु

  • महिला सशक्तीकरण एवं बाल विकास मंत्री रेखा आर्य ने बताया कि ‘मुख्यमंत्री एकल महिला सशक्त स्वरोज़गार योजना’ के लिये न्यूनतम 25 साल से लेकर अधिकतम 45 साल तक की महिलाएँ पात्र होंगी तथा उत्तराखंड की मूल, स्थाई निवासी, एकल, विधवा, परित्यक्ता, तलाकशुदा, अपराध एवं तेजाब पीड़ित महिलाएँ भी इस योजना के लिये पात्र होंगी।
  • इस योजना का उद्देश्य महिलाओं की आर्थिक स्थिति को मज़बूत करते हुए उन्हें सामाजिक सुरक्षा प्रदान कर उनके जीवन स्तर में सुधार लाना है। इसके लिये अभी 50 लाख रुपए का कारपस फंड बनाया गया है, जिसे बढ़ाए जाने के लिये कैबिनेट में प्रस्ताव लाया जाएगा।
  • मंत्री रेखा आर्य ने बताया कि पात्र महिला की मासिक आय 6000 रुपए प्रतिमाह से अधिक नहीं होनी चाहिये। इसके अलावा वो किसी भी संगठित सेवा, सरकारी, गैर-सरकारी, सरकारी उपक्रम आदि में कार्यरत् न हो। वे राजकीय, पारिवारिक पेंशन प्राप्त न करती हो। हालाँकि कल्याणकारी योजनाओं से पेंशन पाने वाली विधवा, दिव्यांग आदि महिलाएँ भी योजना के लिये पात्र होंगी।
  • ‘मुख्यमंत्री एकल महिला सशक्त स्वरोज़गार योजना’ में महिलाओं को 50 हज़ार से लेकर दो लाख रुपए तक के प्रोजेक्ट पर 50 प्रतिशत अनुदान दिया जाएगा। प्रोजेक्ट शुरू होने से पहले प्रथम किश्त के रूप में 50 प्रतिशत ऋण एवं 25 प्रतिशत अनुदान धनराशि दी जाएगी, जबकि प्रोजेक्ट पर काम शुरू होने के तीन महीने बाद 50 प्रतिशत ऋण की वापसी की किश्त शुरू होगी।
  • महिला सशक्तीकरण एवं बाल विकास मंत्री ने बताया कि महिलाओं के सफलतापूर्वक 12 महीने तक एक प्रतिशत ब्याज की दर से ऋण की अदायगी के बाद द्वितीय किश्त के रूप में 25 प्रतिशत अनुदान की धनराशि दी जाएगी।
  • एकल महिलाएँ स्वरोज़गार के लिये बागवानी, कृषि, कुक्कुट पालन, भेड़, बकरी, पशुपालन, मत्स्य पालन, उद्यान, फल, खाद्य प्रसंस्करण एवं अन्य व्यवसाय शुरू कर सकती हैं।

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