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जैव विविधता और पर्यावरण

विश्व वायु गुणवत्ता रिपोर्ट

  • 15 Mar 2023
  • 8 min read

प्रिलिम्स के लिये:

विश्व वायु गुणवत्ता रिपोर्ट, PM2.5, वायु गुणवत्ता और मौसम पूर्वानुमान एवं अनुसंधान प्रणाली (SAFAR) पोर्टल, वायु गुणवत्ता सूचकांक, इलेक्ट्रिक वाहनों को बढ़ावा (EV), वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग, टर्बो हैप्पीसीडर (THS) मशीन।

मेन्स के लिये:

वायु प्रदूषण को नियंत्रित करने हेतु भारत द्वारा की गई पहल, भारत में वायु गुणवत्ता बढ़ाने के तरीके।

चर्चा में क्यों?

IQAir द्वारा तैयार की गई विश्व वायु गुणवत्ता रिपोर्ट के अनुसार, वर्ष 2022 में PM2.5 के स्तर के मामले में दुनिया के 50 सबसे प्रदूषित शहरों में  दिल्ली चौथे स्थान पर है।

  • वर्ष 2022 में 131 देशों में भारत आठवें स्थान पर रहा, जिसका जनसंख्या भारित औसत PM2.5 स्तर 53.3 g/m3 था।

प्रमुख बिंदु  

  • परिचय:  
    • IQAir, स्विस वायु गुणवत्ता प्रौद्योगिकी कंपनी है जो दुनिया भर में सरकारों और अन्य संस्थानों एवं संगठनों द्वारा संचालित निगरानी स्टेशनों के डेटा के आधार पर वार्षिक विश्व वायु गुणवत्ता रिपोर्ट तैयार करती है।
      • वर्ष 2022 की रिपोर्ट 7,323 शहरों और 131 देशों के PM2.5 डेटा पर आधारित है।
  • परिणाम:  
    • चाड, इराक, पाकिस्तान, बहरीन, बांग्लादेश वर्ष 2022 में 5 सबसे प्रदूषित देश हैं।
    • वर्ष 2022 में दिल्ली का औसत PM2.5 स्तर 92.6 μg/m3 था, जो वर्ष 2021 के 96.4 μg/m3 के औसत से थोड़ा कम है।
      • रिपोर्ट नई दिल्ली और दिल्ली के बीच अंतर करती है, नई दिल्ली का वार्षिक औसत PM2.5 स्तर 89.1 μg/m3 है।
      • WHO वार्षिक PM2.5 स्तर 5 g/m3 की सिफारिश करता है।
    • लाहौर दुनिया का सबसे प्रदूषित शहर है, इसके बाद चीन का होतान और राजस्थान का भिवाड़ी ज़िला है।
    • नई दिल्ली विश्व का दूसरा सबसे प्रदूषित राजधानी शहर है, जिसमें चाड का नदजामेना सूची में सबसे ऊपर है।
    • वर्ष 2022 में वार्षिक औसत PM2.5 स्तरों के आधार पर, 39 भारतीय शहर ('दिल्ली' और 'नई दिल्ली' सहित) विश्व के शीर्ष 50 सबसे प्रदूषित शहरों में शामिल हैं।

PM2.5

  • PM2.5 एक प्रकार का वायुमंडलीय कण है, जिसका व्यास 2.5 माइक्रोमीटर से कम या मानव बाल के व्यास का लगभग 3% होता है। 
  • PM2.5 कण इतने छोटे होते हैं कि वे फेफड़ों में गहराई तक प्रवेश कर सकते हैं और यहाँ तक कि रक्तप्रवाह में भी प्रवेश कर सकते हैं तथा PM2.5 के लंबे समय तक संपर्क में रहने से फेफड़ों का कैंसर, हृदय रोग एवं अन्य स्वास्थ्य संबंधी परेशानियाँ हो सकती हैं।

वायु प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिये भारत द्वारा की गई पहल:

भारत में वायु गुणवत्ता को कैसे बढ़ाया जा सकता है?

  • मानव अधिकारों के साथ शून्य उत्सर्जन को संबद्ध किया जाए: वायु प्रदूषण को केवल एक पर्यावरणीय चुनौती के बजाय मानव अधिकार के मुद्दे के रूप में अधिक मान्यता देने की आवश्यकता है एवं इसे शुद्ध शून्य उत्सर्जन (वर्ष 2070 तक) मिशन से जोड़ा जाना चाहिये। 
    • संयुक्त राष्ट्र महासभा (UNGA) ने मानव अधिकार के रूप में स्वच्छ, स्वस्थ और टिकाऊ पर्यावरण के अधिकार को मान्यता देने वाला एक प्रस्ताव भी पारित किया है।
  • ग्रीन-ट्रांज़िशन फाइनेंस: एक वित्तीय संरचना बनाने की आवश्यकता है जो भारत में स्वच्छ वायु समाधानों के लिये निजी वित्त जुटा सके। स्वच्छ ऊर्जा और ई-गतिशीलता जैसे हरित क्षेत्र वायु गुणवत्ता में सुधार के लिये ठोस समाधान प्रदान करते हैं। 
  • जैव एंज़ाइम-पूसा (PUSA): पूसा नामक जैव-एंज़ाइम को भारतीय कृषि अनुसंधान संस्थान द्वारा पराली जलाने के समाधान के रूप में विकसित किया गया है।
    • छिड़काव करते ही यह एंजाइम 20-25 दिनों में पराली को विघटित कर खाद में परिवर्तित करना शुरू कर देता है, जिससे मृदा और भी बेहतर हो जाती है।
  • निर्माण के लिये तैयार कंक्रीट: शहरों में वायु प्रदूषकों के लिये निर्माण गतिविधियों के कारण उत्पन्न होने वाली धूल एक प्रमुख योगदानकर्त्ता है।  
    • इस स्थिति से निपटने के लिये नीति आयोग ने तैयार कंक्रीट के उपयोग का सुझाव दिया है जो निर्माण गतिविधियों के पर्यावरणीय प्रभावों को कम कर सकता है। 

  UPSC सिविल सेवा परीक्षा, विगत वर्ष के प्रश्न  

प्रिलिम्स: 

प्रश्न. हमारे देश के शहरों में वायु गुणवत्ता सूचकांक (Air Quality Index) का परिकलन करने में साधारणतया निम्नलिखित वायुमंडलीय गैसों में से किनको विचार में लिया जाता है? (2016) 

  1. कार्बन डाइऑक्साइड
  2. कार्बन मोनोक्साइड
  3. नाइट्रोजन डाइऑक्साइड
  4. सल्फर डाइऑक्साइड
  5. मेथैन

नीचे दिये गए कूट का प्रयोग कर सही उत्तर चुनिये: 

(a) केवल 1, 2 और 3  
(b) केवल 2, 3 और 4  
(c) केवल 1, 4 और 5  
(d) 1, 2, 3, 4 और 5 

उत्तर: (b)


मेन्स: 

प्रश्न. विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) द्वारा हाल ही में जारी किये गए संशोधित वैश्विक वायु गुणवत्ता दिशा-निर्देशों (AQGs) के प्रमुख बिंदुओं का वर्णन कीजिये। विगत 2005 के अद्यतन से ये किस प्रकार भिन्न हैं? इन संशोधित मानकों को प्राप्त करने के लिये भारत के राष्ट्रीय स्वच्छ वायु कार्यक्रम में किन परिवर्तनों की आवश्यकता हैं? (2021) 

 स्रोत: इंडियन एक्सप्रेस  

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