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शासन व्यवस्था

विशिष्ट संस्थान योजना

  • 29 Mar 2023
  • 5 min read

प्रिलिम्स के लिये:

यूजीसी, विश्व स्तरीय शिक्षण प्रणाली, उच्च शिक्षा, गुणवत्तापूर्ण शिक्षण और अनुसंधान।

मेन्स के लिये:

विशिष्ट संस्थान योजना।

चर्चा में क्यों?

ऐसे कई संस्थान हैं, जिन्हें विशिष्ट संस्थान (Institution Of Eminence- IoE) स्टेटस हेतु चुने जाने के बाद भी तीन वर्ष से अधिक समय से IoE स्टेटस नहीं प्रदान किया गया है।

इंस्टीट्यूट ऑफ एमिनेंस योजना:

  • परिचय:
    • केंद्र सरकार ने देश में 20 प्रतिष्ठित शिक्षण संस्थान स्थापित करने हेतु IoE योजना शुरू की है।
    • विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (University Grants Commission- UGC) ने वर्ष 2017 में अनिवार्य किया कि IoE योजना अधिसूचना के पाँच वर्ष के भीतर मान्यता प्राप्त कर ले।
    • भारत में उच्च शिक्षा संस्थानों को सशक्त बनाने और उन्हें उच्च गुणवत्ता वाली शिक्षा तक किफायती पहुँच बढ़ाने के लिये विश्व स्तरीय शिक्षण प्रणालियों को लागू करने में मदद के लिए 'विशिष्‍ट संस्‍थान' का दर्जा देना शुरू किया गया था।
      • इसमें 20 संस्थानों (10 सार्वजनिक और 10 निजी संस्थानों) ने अनुदान प्राप्त किया, और चयनित संस्थानों में से ग्यारह को अप्रैल 2021 में प्रतिष्ठित संस्थानों का दर्जा प्राप्त हुआ।
  • उद्देश्य:
    • उत्कृष्टता और नवाचार: ज्ञान के विभिन्न क्षेत्रों में उत्कृष्टता और नवाचार के लिये उच्च शिक्षा प्रदान करना जिसे स्नातक, स्नातकोत्तर और अनुसंधान डिग्री स्तरों पर उचित माना जा सकता है।
    • विशेषज्ञता: विश्वविद्यालय शिक्षा प्रणाली के उद्देश्यों में विशिष्ट योगदान देने के लिये विशेषज्ञता के क्षेत्रों में शामिल होना।
    • वैश्विक रेटिंग: समय के साथ विश्व के शीर्ष सौ संस्थानों को उनके शिक्षण एवं अनुसंधान के लिये अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर रेटिंग प्रदान करने का लक्ष्य है।
    • गुणवत्ता शिक्षण एवं अनुसंधान: उच्च गुणवत्ता वाले शिक्षण एवं अनुसंधान के लिये तथा ज्ञान की उन्नति और इसके प्रसार के लिये प्रदान करना।
  • मानदंड:
    • वैश्विक/राष्ट्रीय रैंकिंग: केवल वे संस्थान जो किसी भी वैश्विक/राष्ट्रीय रैंक (जैसे, QS, NIRF) में दिखाई देते हैं, उन्हें विशिष्ट संस्थान योजना (IoE) स्थिति के लिये अनुशंसित किया जाएगा।
      • राष्ट्रीय संस्थागत रैंकिंग फ्रेमवर्क (National institutional Ranking Framework- NIRF) में शीर्ष 50।
      • दुनिया भर में प्रकाशित प्रतिष्ठित रैंकिंग में शीर्ष 500, जैसे टाइम्स हायर एजुकेशन वर्ल्ड यूनिवर्सिटी लिस्ट, क्यूएस।
    • ग्रीनफील्ड प्रस्ताव: उपरोक्त मानदंड को पूरा करने के बाद ही यदि कोई स्लॉट खाली रहता है, तो अब तक स्थापित (ग्रीनफील्ड) प्रस्तावों पर विचार किया जाएगा।
      • ग्रीनफील्ड परियोजना शब्द आमतौर पर बिना किसी पूर्व कार्य पर विचार किये किसी परियोजना की शुरुआत को संदर्भित करता है।
      • ग्रीनफील्ड संस्थानों को स्थापना और संचालन के लिये 3 वर्ष का समय मिलेगा तथा उसके बाद EEC ऐसे संस्थानों को IoE का दर्जा देने पर विचार करेगा।
  • लाभ:
    • स्वायत्तता: IoE टैग वाले संस्थानों को फीस, पाठ्यक्रम अवधि और शासन संरचनाओं को तय करने के लिये अधिक स्वायत्तता एवं स्वतंत्रता प्रदान की जाएगी।
    • अनुदान: IoE टैग के तहत सार्वजनिक संस्थानों को 1,000 करोड़ रुपए का सरकारी अनुदान मिलेगा, जबकि निजी संस्थानों को योजना के तहत कोई धन नहीं मिलेगा।

स्रोत: इंडियन एक्सप्रेस

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