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विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी

लॉन्ग रीड सीक्वेंसिंग और Y गुणसूत्र

  • 31 Aug 2023
  • 10 min read

प्रिलिम्स के लिये:

लॉन्ग रीड सीक्वेंसिंग, एक्स और वाई क्रोमोसोम, डीएनए

मेन्स के लिये:

लॉन्ग रीड सीक्वेंसिंग का महत्त्व

स्रोत: द हिंदू

चर्चा में क्यों?

नई "लॉन्ग रीड" सीक्वेंसिंग तकनीक ने Y गुणसूत्र के एक छोर से दूसरे छोर तक विश्वसनीय अनुक्रम प्रदान किया है।

  • नेचर जर्नल में प्रकाशित निष्कर्ष सेक्स जीन और शुक्राणु की कार्यप्रणाली, Y गुणसूत्र के विकास तथा कुछ मिलियन वर्षों में इसके संभावित रूप से गायब होने के बारे में जानकारी प्रदान करते हैं।
  • इससे पहले कुछ अध्ययनों ने कोलोरेक्टल और मूत्राशय के कैंसर में Y गुणसूत्र की भूमिका पर प्रकाश डाला था, जिसमें प्रमुख आनुवंशिक तंत्रों का खुलासा किया गया था जो ट्यूमर की प्रगति, प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया और नैदानिक पूर्वानुमान में योगदान करते हैं।

DNA, जीन और गुणसूत्र के बीच अंतर:

  • DNA: 
    • DNA एक लंबा अणु है जिसमें हमारा अद्वितीय आनुवंशिक कोड होता है। DNA दो रेशों से बनता है जो सर्पिल सीढ़ी की तरह एक डबल हेलिक्स आकार बनाने के लिये एक-दूसरे के चारों ओर लिपटे होते हैं।
    • DNA का प्रत्येक रेशा चार बुनियादी बिल्डिंग ब्लॉक्स या 'बेस' से बनता है: एडेनिन (A), साइटोसिन (C), गुआनिन (G) और थाइमिन (T)।
  • जीन:
    • जीन DNA के खंड होते हैं जिनमें शरीर में एक विशिष्ट अणु, आमतौर पर एक प्रोटीन का उत्पादन करने के लिये निर्देशों का सेट होता है।
      • ये प्रोटीन यह नियंत्रित करने कि शरीर कैसे बढ़ता है और कैसे काम करता है तथा आँखों का रंग, रक्त का प्रकार या ऊँचाई जैसी विशेषताओं के लिये ज़िम्मेदार होते हैं।
    • प्रत्येक कोशिका में जीन के दो सेट मौजूद होते हैं, एक माँ से प्राप्त होता है और एक पिता से। भंडारण और पहुँच में आसानी के लिये जीन की पैकेजिंग 46 पार्सल के रूप में होती है, इन्हीं 46 पार्सल को गुणसूत्र/क्रोमोसोम कहा जाता है।
  • गुणसूत्र: 
    • प्रत्येक कोशिका के केंद्रक में DNA अणु गुणसूत्र नामक धागे जैसी संरचना में व्यवस्थित होता है।
    • प्रत्येक गुणसूत्र हिस्टोन नामक प्रोटीन के चारों ओर मज़बूत कुंडलित DNA से बना होता है जो इसकी संरचना का समर्थन करता है।
    • कोशिका के केंद्रक में गुणसूत्र दिखाई नहीं देते- माइक्रोस्कोप से भी नहीं।

Y गुणसूत्र और इसके संबंधित निष्कर्ष:

  • परिचय: 
    • Y गुणसूत्र एक पुरुष-निर्धारण गुणसूत्र है; इसमें SRY (Sex-Determining region Y- लिंग-निर्धारण क्षेत्र Y) नामक जीन होता है, जो भ्रूण में वृषण के विकास को निर्देशित करता है।
  • Y बनाम X: 
    • Y, X और मानव जीनोम के 22 अन्य गुणसूत्रों से बहुत अलग होता है; यह आकार में छोटा होता है और इसमें बहुत सारे DNA अनुक्रम होते हैं जो लक्षणों (जंक DNA) में योगदान नहीं करते हैं (X पर लगभग 1,000 की तुलना में केवल 27) जिससे गुणसूत्र को अनुक्रमित करना कठिन हो जाता है।
  • Y का लोप:
    • लगभग 150 मिलियन वर्ष पहले SRY विकसित हुआ और एक नए प्रोटो-Y को परिभाषित किया गया जो काफी तेज़ी से नष्ट होता गया (प्रति मिलियन वर्ष ~10 सक्रिय जीन के विघटन के साथ)।
    • यदि यह गिरावट जारी रही तो कुछ मिलियन वर्षों में संपूर्ण मानव Y गुणसूत्र विलुप्त हो जाएगा (जैसा कि पहले ही कुछ कृंतकों में हो चुका है)।
  • Y अनुक्रमण के निष्कर्ष:
    • Y अंतिम मानव गुणसूत्र है जिसे एंड-टू-एंड अथवा T2T (telomere-to-telomere) अनुक्रमित किया गया है।
      • टेलोमेरेस DNA अनुक्रमों और गुणसूत्रों के छोर पर पाए जाने वाले प्रोटीन से बनी संरचनाएँ हैं।
    • कुछ नए  जीन खोजे गए हैं लेकिन वे मात्र ज्ञात जीन की अतिरिक्त प्रतियाँ हैं।
    • अब सेंट्रोमियर संरचना ज्ञात है तथा Y के अंत में दोहराव वाले अनुक्रम पढ़े जा चुके हैं।
      • सेंट्रोमियर गुणसूत्र का एक क्षेत्र है जो कोशिका के विभाजित होने पर प्रतियों को एक ओर/दूर खींचता है।
      • प्रत्येक गुणसूत्र पर सेंट्रोमियर का स्थान गुणसूत्र को विशिष्ट आकार देता है तथा इसका उपयोग विशिष्ट जीन के स्थान का उल्लेख करने में मदद के लिये किया जा सकता है।
    • ये निष्कर्ष विश्व भर के वैज्ञानिकों के लिये महत्त्वपूर्ण हैं। यह Y जीन के विवरण की जाँच करने में मदद करेगा, साथ ही SRY और शुक्राणु जीन कैसे व्यक्त होते हैं अथवा दोहराए गए अनुक्रम कहाँ एवं कैसे उत्पन्न होते हैं, इसकी जानकारी भी देगा।

लॉन्ग रीड सीक्वेंसिंग:

  • लॉन्ग रीड सीक्वेंसिंग, जिसे तीसरी पीढ़ी की अनुक्रमणिका(sequencing) भी कहा जाता है, एक DNA अनुक्रमण तकनीक है जो पारंपरिक लघु-पठित (Short reads) अनुक्रमण विधियों की तुलना में अधिक लंबे DNA टुकड़ों के अनुक्रमण को सक्षम बनाती है।
    • DNA अनुक्रमण के सबसे बुनियादी रूपों में से एक सेंगर (Sanger) अनुक्रमण है जो DNA के अपेक्षाकृत छोटे टुकड़ों (900 क्षार युग्म तक) को अनुक्रमित कर सकता है।
    • DNA अनुक्रमण के अधिक आधुनिक रूपों को भावी पीढ़ी के अनुक्रमण कहा जाता है जो सेंगर अनुक्रमण की तुलना में लंबे DNA अनुक्रमों को कुशलतापूर्वक निर्धारित कर सकता है।
  • पिछले दशक में लॉन्ग-रीड, एकल-अणु DNA अनुक्रमण प्रौद्योगिकियाँ जीनोमिक्स में शक्तिशाली कारक  के रूप में उभरी हैं। ये अधिक लंबे DNA अंशों (सामान्य श्रेणी: 10,000 - 100,000 क्षार युग्म) के DNA अनुक्रम को पढ़ सकती हैं।
  • शॉर्ट रीड अधिकांश आनुवंशिक भिन्नता को पकड़ सकता है जबकि लॉन्ग रीड सीक्वेंसिंग जटिल संरचनात्मक वेरिएंट का पता लगाने में मदद करता है जिन्हें शॉर्ट रीड के साथ पता लगाना मुश्किल हो सकता है।

  UPSC सिविल सेवा परीक्षा, विगत वर्ष के प्रश्न  

प्रश्न. प्राय: समाचारों में आने वाला Cas9 प्रोटीन क्या है? (2019)

(a) लक्ष्य-साधित जीन संपादन (टारगेटेड जीन एडिटिंग) में प्रयुक्त आण्विक कैंची।
(b) रोगियों में रोगजनकों की ठीक-ठीक पहचान के लिये प्रयुक्त जैव संवेदक।
(c) एक जीन जो पादपों को पीड़क-प्रतिरोधी बनाता है।
(d) आनुवंशिकत: रूपांतरित फसलों में संश्लेषित होने वाला एक शाकनाशी पदार्थ।

उत्तर: (a)


प्रश्न. भारत में कृषि के संदर्भ में प्रायः समाचारों में आने वाले "जीनोम अनुक्रमण (जीनोम सिक्वेंसिंग)" की तकनीक का आसन्न भविष्य में किस प्रकार उपयोग किया जा सकता है? (2017) 

  1. विभिन्न फसली पौधों में रोग प्रतिरोध और सूखा सहिष्णुता के लिये आनुवंशिक सूचकों का अभिज्ञान करने के लिये जीनोम अनुक्रमण का उपयोग किया जा सकता है।  
  2. यह तकनीक, फसली पौधों की नई किस्मों को विकसित करने में लगने वाले आवश्यक समय को घटाने में मदद करती है। 
  3. इसका प्रयोग फसलों में पोषी रोगाणु-संबंधों को समझने के लिये किया जा सकता है। 

नीचे दिये गए कूट का प्रयोग कर सही उत्तर चुनिये :   

(a) केवल 1  
(b) केवल 2 और 3  
(c) केवल 1 और 3  
(d) 1, 2 और 3 

उत्तर: (d) 


प्रश्न. अनुप्रयुक्त जैव-प्रौद्योगिकी में शोध तथा विकास-संबंधी उपलब्धियाँ क्या हैं? ये उपलब्धियाँ समाज के निर्धन वर्गों के उत्थान में किस प्रकार सहायक होंगी? (2021)

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