उत्तर प्रदेश
क्रोनिक माइलॉयड ल्यूकेमिया (CML)
- 05 Nov 2025
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चर्चा में क्यों?
उत्तर प्रदेश में वयस्क रक्त कैंसर के एक प्रमुख प्रकार, क्रोनिक माइलॉयड ल्यूकेमिया (CML) का अब प्रतिदिन एक लक्षित गोली के माध्यम से प्रभावी रूप से प्रबंधन संभव है।
- इस महत्त्वपूर्ण उपलब्धि को हेमेटोकॉन-2025 के प्री-कॉन्फ्रेंस बैठक में उजागर किया गया, जिसका आयोजन इंडियन सोसाइटी ऑफ हेमेटोलॉजी एंड ब्लड ट्रांसफ्यूज़न (ISHBT) और उत्तर प्रदेश हेमेटोलॉजी ग्रुप (UPHG) द्वारा किया गया।
मुख्य बिंदु
- परिचय:
- CML रक्त कैंसर का एक प्रकार है, जो वयस्कों को प्रभावित करता है और भारत में सभी वयस्क ल्यूकेमिया मामलों का लगभग 30% हिस्सा है। यह रोग लगभग प्रत्येक 1 लाख लोगों में से 5 को प्रभावित करता है।
- CML का कारण फिलाडेल्फिया गुणसूत्र नामक आनुवंशिक उत्परिवर्तन है, जो श्वेत रक्त कोशिकाओं की असामान्य वृद्धि का कारण बनता है।
- उपचार:
- इमैटिनिब और इसके नए संस्करण जैसे टायरोसिन काइनेज इनहिबिटर्स (TKI) ने विगत दो दशकों में CML के उपचार में क्रांतिकारी बदलाव लाया है।
- TKI, जिसे प्रतिदिन एक गोली के रूप में लिया जाता है, ने CML को घातक बीमारी से प्रबंधनीय स्थिति में बदल दिया है, जिससे रोगियों को सामान्य जीवन जीने में मदद मिली है।
- लागत:
- TKI आधारित CML उपचार की लागत 1,600 रुपए प्रति माह तक हो सकती है।
- जन औषधि फार्मेसियों के माध्यम से सुलभ जेनेरिक संस्करण भी उपलब्ध हैं।
- महत्त्व:
- लक्षित चिकित्सा ने CML को घातक बीमारी से प्रबंधनीय स्थिति में बदल दिया है और आधुनिक उपचारों ने दीर्घकालिक उत्तरजीविता दर को 90% से अधिक तक बढ़ा दिया है।