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Rapid Fire (करेंट अफेयर्स): 07 जुलाई, 2021

  • 07 Jul 2021
  • 8 min read

दलाई लामा

06 जुलाई, 2021 को 14वें दलाई लामा, तेनज़िन ग्यात्सो का 86वाँ जन्मदिवस आयोजित किया गया। दलाई लामा का जन्मदिवस तिब्बती समुदाय के सबसे भव्य आयोजनों में से एक के रूप में मनाया जाता है। तिब्बती बौद्ध धर्म में दलाई लामा को सबसे महत्त्वपूर्ण धार्मिक नेता माना जाता है। तिब्बती बौद्ध धर्म का मानना है कि दलाई लामा करुणा के बुद्ध की अभिव्यक्ति हैं, जिन्होंने मानवता की सेवा हेतु पुनर्जन्म का विकल्प चुना है। ध्यातव्य है कि दलाई लामा के चयन की प्रथा काफी पुरानी है और पहले दलाई लामा की पहचान 15वीं शताब्दी में की गई थी। लामा, बौद्ध धर्म का एक शीर्षक है जिसका अर्थ ‘श्रेष्ठ’ से है, इसे आधिकारिक तौर पर केवल कुछ चुनिंदा तिब्बती बौद्ध भिक्षुओं को दिया जाता है, जो आध्यात्मिकता के उच्चतम स्तर को प्राप्त करते हैं। तिब्बती बौद्ध धर्म के 14वें दलाई लामा- तेनज़िन ग्यात्सो का जन्म 6 जुलाई, 1935 को तिब्बत में हुआ था। उनकी पहचान 13वें दलाई लामा के पुनर्जन्म के रूप में की गई थी, जब वे मात्र 2 वर्ष के थे। वर्ष 1950 में जब चीन ने तिब्बत पर आक्रमण किया, तो किशोर होने के बावजूद वे राजनीतिक सत्ता संभालने के लिये मज़बूर हो गए। वर्ष 1959 में भारत में शरण लेने के पश्चात् दलाई लामा तिब्बत की स्वायत्ता और स्वतंत्रता के प्रमुख वैश्विक अधिवक्ता और नैतिक नेता के रूप में उभरे। वर्ष 1989 में उन्हें नोबेल शांति पुरस्कार से सम्मानित किया गया था।

‘खादी प्राकृतिक पेंट’ 

केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी को ‘खादी प्राकृतिक पेंट’ का ‘ब्रांड एंबेसेडर’ घोषित किया गया है। इसके साथ ही केंद्रीय मंत्री ने जयपुर स्थित खादी प्राकृतिक पेंट की नई स्वचालित निर्माण इकाई का वर्चुअल रूप से  उद्घाटन भी किया। खादी एवं ग्रामोद्योग आयोग (KVIC) द्वारा विकसित ‘खादी प्राकृतिक पेंट’ को जनवरी, 2021 में लॉन्च किया गया था। पर्यावरण के अनुकूल और गैर-विषैले रंगों से निर्मित ‘खादी प्राकृतिक पेंट’ में एंटी-फंगल एवं एंटी-बैक्टीरियल गुण मौजूद हैं। गाय के गोबर पर आधारित यह पेंट लागत प्रभावी और गंधहीन है तथा यह भारतीय मानक ब्यूरो (BIS) द्वारा भी प्रमाणित है। खादी प्राकृतिक पेंट दो रूपों में उपलब्ध है - डिस्टेंपर पेंट और प्लास्टिक इमल्शन पेंट। खादी एवं ग्रामोद्योग आयोग (KVIC) का यह पेंट भारी धातुओं जैसे- सीसा, पारा, क्रोमियम, आर्सेनिक, कैडमियम आदि से मुक्त है। ‘खादी प्राकृतिक पेंट’ स्थानीय स्तर पर विनिर्माण को बढ़ावा देगा और प्रौद्योगिकी हस्तांतरण के माध्यम से स्थायी स्थानीय रोज़गार का सृजन करेगा। एक अनुमान के अनुसार, इस नए पेंट के माध्यम से किसानों/गौशालाओं को प्रति पशु प्रतिवर्ष लगभग 30,000 रुपए की अतिरिक्त आय प्राप्त हो सकेगी। 

दिलीप कुमार

हाल ही में बॉलीवुड के ट्रेजेडी किंग के रूप में प्रसिद्ध मशहूर अभिनेता दिलीप कुमार का 98 वर्ष की आयु में निधन हो गया है। दिलीप कुमार को भारतीय सिनेमा के सबसे महानतम अभिनेताओं में से एक माना जाता है। 11 दिसंबर, 1922 को पेशावर के ‘किस्सा खवानी बाज़ार’ क्षेत्र (वर्तमान पाकिस्तान) में जन्मे दिलीप कुमार ने अपने फिल्मी कॅॅॅरियर की शुरुआत वर्ष 1944 में 'ज्वार भाटा' फिल्म के साथ की थी। भारत के सबसे महान अभिनेताओं में से एक के रूप में प्रसिद्ध दिलीप कुमार का फिल्मी कॅॅॅरियर लगभग पाँच दशकों तक विस्तृत रहा। उनकी सबसे प्रसिद्ध फिल्मों में देवदास, मुग़ल-ए-आज़म, गंगा जमुना, राम और श्याम, नया दौर, मधुमती, क्रांति, विधाता, शक्ति और मशाल आदि शामिल हैं। दिलीप कुमार को भारतीय अभिनेता में सबसे अधिक पुरस्कार जीतने हेतु गिनीज़ वर्ल्ड रिकॉर्ड में सूचीबद्ध किया गया है। उन्हें भारत के प्रथम ‘मेथड एक्टर’ का भी श्रेय दिया जाता है। दिलीप कुमार को वर्ष 1994 में दादा साहब फाल्के पुरस्कार और वर्ष 2015 में पद्म विभूषण से भी सम्मानित किया गया था। दिलीप कुमार की अंतिम फिल्म वर्ष 1998 में रिलीज़ हुई थी। 

प्रत्यक्ष बिक्री उद्योग संबंधी प्रस्तावित नियम

ई-कॉमर्स सेगमेंट के नियंत्रण के पश्चात् सरकार ने हाल ही में प्रत्यक्ष बिक्री उद्योग या डायरेक्ट सेलिंग कंपनियों को नियंत्रित करने के लिये नए मसौदा नियम प्रस्तावित किये हैं। ये प्रस्तावित नियम ‘प्रत्यक्ष विक्रेता कंपनियों’ को पिरामिड और मनी सर्कुलेशन योजनाओं में शामिल होने से प्रतिबंधित करते हैं। विशेषज्ञों के अनुसार, ये प्रस्तावित नियम सही दिशा में एक महत्त्वपूर्ण कदम हैं, जो उद्योग को औपचारिक बनाने और अनुचित गतिविधियों पर अंकुश लगाने में मदद करेंगे। मसौदा नियमों के तहत प्रत्यक्ष बिक्री में शामिल कंपनियों के लिये एक मुख्य अनुपालन अधिकारी, एक शिकायत निवारण अधिकारी और एक नोडल संपर्क अधिकारी की नियुक्ति करना अनिवार्य होगा। साथ ही इन कंपनियों को स्वयं को ‘उद्योग एवं आंतरिक व्यापार संवर्द्धन विभाग’ के साथ भी पंजीकृत कराना होगा, जिसके लिये कंपनी का भारत में एक कार्यालय होना अनिवार्य है। ये नियम कंपनियों के लिये दोषपूर्ण वस्तुओं और सेवाओं हेतु उपभोक्ताओं को रिफंड प्रदान करने का भी निर्देश देते हैं, जिसके लिये 90 दिनों की अवधि निर्धारित की गई है। विदित हो कि डायरेक्ट सेलिंग कंपनियाँ, एजेंटों को तैनात करती हैं जो कंपनी से उत्पाद खरीदते हैं और फिर उन्हें प्रत्यक्ष तौर पर उपभोक्ताओं तक पहुँचाते हैं। एक अनुमान के अनुसार, भारत में वर्तमान में प्रत्यक्ष बिक्री उद्योग का बाज़ार मूल्य तकरीबन 10,000 करोड़ रुपए है और इसमें पिछले पाँच वर्षों में 12-13 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई है।

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