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डेली न्यूज़

भारतीय अर्थव्यवस्था

खान एवं खनिज संबंधी अध्यादेश

  • 09 Jan 2020
  • 4 min read

प्रीलिम्स के लिये:

अध्यादेश संबंधी प्रावधान

मेन्स के लिये:

खान और खनिज (विकास और विनियम) अधिनियम 1957, कोयला खान (विशेष प्रावधान) अधिनियम, 2015 में संशोधन

चर्चा में क्यों?

हाल ही में केंद्रीय मंत्रिमंडल ने खनिज कानून संशोधन संबंधी अध्यादेश 2020 को मंज़ूरी दी है।

मुख्य बिंदु:

  • यह अध्यादेश खान और खनिज (विकास और विनियम) अधिनियम 1957 [Mines and Minerals (Development and Regulation) Act, 1957], कोयला खान (विशेष प्रावधान) अधिनियम, 2015 [Coal Mines (Special Provisions) Act, 2015] में संशोधन का प्रावधान करता है।
  • इस संशोधन के माध्यम से कोयले का घरेलू उत्पादन बढ़ाने के लिये केंद्र सरकार ने खनन नियमों में ढील दी है तथा कोयला खनन क्षेत्र में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश के रास्ते खोल दिये हैं।

क्या है अध्यादेश का उद्देश्य?

  • कोयला मंत्रालय के अनुसार, इस कदम से एक ऊर्जा दक्ष बाज़ार बनाने में सहायता मिलेगी, इससे प्रतिस्पर्द्धा में वृद्धि होगी और कोयले का आयात घटाने में मदद मिलेगी।
  • कोल इंडिया को मज़बूत करने के लिये वर्ष 2023-24 तक कोयले के घरेलू उत्पादन को एक मिलियन टन तक बढ़ाने का प्रयास किया जाएगा।
  • इस अध्यादेश को मंज़ूरी मिलने के बाद न्यूनतम मानदंड पूरा करने वाली अन्य खनन कंपनियों के पास भी कोयला खानों के लिये बोली लगाने का अधिकार होगा।
  • यह अध्यादेश 31 मार्च, 2020 को समाप्त होने जा रही खनन पट्टों की नीलामी प्रक्रिया को मज़बूती प्रदान करेगा।
  • इस अध्यादेश के उदारीकृत नियमों के तहत पहली बोली जनवरी 2020 में ही लगाई जाएगी, इस दौरान कुल 40 कोयला ब्लॉक नीलामी के लिये उपलब्ध रहेंगे।
  • भारत ने वर्ष 2018-19 में लगभग 1.71 करोड़ रुपए मूल्य के 235 मिलियन टन कोयले का आयात किया था।

वैश्विक कंपनियाँ शुरू कर पाएंगी कारोबार:

  • कोयला खनन के क्षेत्र में विदेशी कंपनियों को शत प्रतिशत निवेश की छूट देने से भारत को अपने खनिज भंडार का न केवल दोहन करने में मदद मिलेगी बल्कि बहुत सी वैश्विक कंपनियाँ अपनी नई प्रौद्योगिकी के साथ भारत में अपना कारोबार स्थापित कर सकेंगी।
  • इस अध्यादेश से वाणिज्यिक प्रयोग हेतु कोयला खानों की नीलामी के नियम आसान करने में मदद मिलेगी।

कोयले के क्षेत्र का राष्ट्रीयकरण:

  • भारत में कोयला क्षेत्र का राष्ट्रीयकरण वर्ष 1973 में हुआ था।
  • कोयला क्षेत्र के राष्ट्रीयकरण के कुछ समय बाद ही 1975 में कोल इंडिया लिमिटेड (Coal India Ltd.) की स्थापना एक होल्डिंग कंपनी के रूप में हुई थी।

स्रोत- द हिंदू

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