कौशल मेला 2025 | 18 Jul 2025

चर्चा में क्यों?

उत्तर प्रदेश के लखनऊ शहर में इंदिरा गांधी प्रतिष्ठान में विश्व युवा कौशल दिवस के अवसर पर कौशल मेला 2025 आयोजित किया गया।

  • इसका उद्देश्य उत्तर प्रदेश के युवाओं में व्यावसायिक प्रशिक्षण, कौशल विकास और आत्मनिर्भरता को बढ़ावा देना था।

मुख्य बिंदु

उत्तर प्रदेश सरकार की कौशल पहल:

  • उत्तर प्रदेश कौशल विकास मिशन (UPSDM): 
    • लक्ष्य समूह: यह मिशन 14 से 35 वर्ष की आयु के युवाओं को निःशुल्क, रोज़गारोन्मुख प्रशिक्षण प्रदान करता है।
    • उद्देश्य: राज्य सरकार का उद्देश्य कौशल आधारित रोज़गार के अवसर सृजित करना है।
    • वार्षिक प्रशिक्षण: हर साल 2,800 से अधिक प्रशिक्षण केंद्रों में 3 लाख युवाओं को प्रशिक्षित किया जाता है।
    • कुल प्रशिक्षण: वित्त वर्ष 2017-18 में मिशन की स्थापना के बाद से मार्च 2025 तक 14,13,716 युवाओं को प्रशिक्षित किया जा चुका है।
    • रोज़गार सुविधा: मिशन के माध्यम से 5,66,483 युवाओं को सफलतापूर्वक रोज़गार दिलाया गया है।
    • साझेदारियाँ: मिशन ने 24 प्रमुख औद्योगिक प्रतिष्ठानों को प्रशिक्षण प्रदाता तथा 8 प्लेसमेंट एजेंसियों को साझेदार बनाया है ताकि रोज़गार के अवसर बढ़ सकें।
    • यह भारत का पहला एकीकृत मॉडल है, जो पाँच केंद्रीय सरकार तथा एक राज्य सरकार की कौशल विकास योजनाओं को एकीकृत और समन्वित रूप से संचालित करता है।
  • कौशल विकास पहल (SDI):
    • कौशल विकास एवं उद्यमिता मंत्रालय द्वारा वित्तपोषित यह योजना 14–35 वर्ष के सभी वर्गों के युवाओं को MES कोर्स प्रदान करती है, जिसमें 30% महिलाएँ और 75% प्लेसमेंट का लक्ष्य होता है।
  • अनुसूचित जाति उप-योजना हेतु विशेष केंद्रीय सहायता:
    • सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्रालय की यह योजना अनुसूचित जाति के 14–35 वर्ष के युवाओं को लक्षित करती है। इसमें MES और QP-NOS कोर्स प्रदान किये जाते हैं, 30% महिला भागीदारी के साथ, यह योजना भारत सरकार द्वारा पूर्णतः वित्तपोषित है।
  • बहु-क्षेत्रीय विकास कार्यक्रम (MSDP):
    • अल्पसंख्यक कार्य मंत्रालय द्वारा संचालित यह भारत सरकार की वित्तपोषित योजना है, जो उत्तर प्रदेश के चयनित ज़िलों में अल्पसंख्यक युवाओं को MES प्रशिक्षण प्रदान करती है, जिसमें 33% महिला भागीदारी और 75% प्लेसमेंट का लक्ष्य होता है।
  • सीमावर्ती क्षेत्र विकास कार्यक्रम (BADP):
    • गृह मंत्रालय की यह योजना उत्तर प्रदेश के सीमावर्ती 19 ब्लॉकों में युवाओं को MES और QP-NOS प्रशिक्षण प्रदान करती है, जिसमें 50% महिला भागीदारी सुनिश्चित की जाती है। यह योजना भी भारत सरकार द्वारा पूर्णतः वित्तपोषित है।
  • भवन एवं अन्य निर्माण श्रमिक योजना (BOCW):
    • यह उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा वित्तपोषित योजना है, जो 14–50 वर्ष के पंजीकृत निर्माण श्रमिकों और उनके परिवारों को MES तथा QP-NOS प्रशिक्षण प्रदान करती है।
  • राज्य कौशल विकास निधि (SSDF):
    • यह उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा स्थापित एक टॉप-अप फंड है, जो 14–35 वर्ष के युवाओं को MES और QP-NOS प्रशिक्षण प्रदान करता है। इसका उद्देश्य 20% अल्पसंख्यकों तथा 30% महिलाओं को लक्षित करना है एवं 60% प्लेसमेंट प्राप्त करना है।
      • राज्य कौशल विकास निधि (SSDF) को अतिरिक्त वित्तीय सहायता प्रदान करने और योजनाओं के प्रभावी एकीकरण हेतु स्थापित किया गया है।
      • सामान्य न्यूनतम मानदंडों के अनुसार, प्रमाणित उम्मीदवारों की 70% नियुक्ति अनिवार्य है, जिसमें कम-से-कम 50% को वेतनयुक्त रोज़गार मिलना चाहिये।

ITI चलो अभियान

  • इसे उत्तर प्रदेश में ITI में प्रवेश बढ़ाने के लिये 12 मई 2025 को लॉन्च किया गया था।
  • इसका उद्देश्य मेक इन इंडिया और डिजिटल इंडिया के साथ तकनीकी शिक्षा को मज़बूत करना तथा युवाओं में रोज़गार क्षमता को बढ़ाना है।
  • यह अभियान ज़िला मजिस्ट्रेटों, स्कूल प्राधिकारियों और ग्राम प्रधानों के समन्वित प्रयासों से कार्यान्वित किया गया।
  • 149 सरकारी ITI ने 11 उद्योग-संरेखित दीर्घकालिक पाठ्यक्रम प्रदान करने के लिये टाटा टेक्नोलॉजीज़ के साथ साझेदारी की है।
  • यह मिशन स्कूलों और ग्रामीण क्षेत्रों में जागरूकता बढ़ाता है, शिक्षा तथा रोज़गार के अंतर को पाटता है एवं उत्तर प्रदेश को कौशल विकास का केंद्र बनाता है।