बिहार में विकास परियोजनाओं का उद्घाटन | 02 May 2025

चर्चा में क्यों

प्रधानमंत्री ने बिहार के एक दिवसीय दौरे के दौरान मधुबनी में विभिन्न विकास परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास किया।

मुख्य बिंदु

  • रेल कनेक्टिविटी और परियोजनाएँ: 
    • प्रधानमंत्री ने रेल कनेक्टिविटी को बढ़ावा देने के लिये कई महत्वपूर्ण परियोजनाओं की शुरुआत की। 
    • सहरसा और मुंबई के बीच अमृत भारत एक्सप्रेस, जयनगर और पटना के बीच नमो भारत रैपिड ट्रेन और पिपरा, सहरसा तथा समस्तीपुर के बीच ट्रेनों को हरी झंडी दिखाई। इसके साथ ही, बिहार में नई रेल लाइनों और ओवर ब्रिज का उद्घाटन किया गया। 
    • इससे राज्य के विभिन्न हिस्सों में बेहतर यातायात सुविधा मिलेगी और सामाजिक-आर्थिक विकास को बढ़ावा मिलेगा।
  • बिजली परियोजनाएँ: 
    • बिहार में बिजली के बुनियादी ढाँचे को मज़बूत करने के लिये 1,170 करोड़ रुपए की परियोजनाओं की आधारशिला रखी गई। इसके अलावा, पुनर्गठित वितरण क्षेत्र योजना के तहत 5,030 करोड़ रुपए से अधिक की कई परियोजनाओं का उद्घाटन भी किया गया। 
    • इससे बिहार के ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में बिजली आपूर्ति में सुधार होगा और विकास को नई दिशा मिलेगी।
  • प्रधानमंत्री आवास योजना: 
    • इस योजना तहत एक लाख से अधिक लाभार्थियों ने गृह प्रवेश किया और 54,000 से अधिक लाभार्थियों को चाबियाँ सौंपी गईं।
  • स्वयं सहायता समूहों के लिये सहायता: 

प्रधानमंत्री आवास योजना-ग्रामीण (PMAY-G):

  • शुभारंभ: सभी के लिये आवास” के उद्देश्य को प्राप्त करने के लिये, पूर्ववर्ती ग्रामीण आवास योजना इंदिरा आवास योजना (IAY) को 1 अप्रैल 2016 से केंद्र प्रायोजित योजना के रूप में प्रधानमंत्री आवास योजना-ग्रामीण (PMAY-G) में पुनर्गठित किया गया।
  • संबंधित मंत्रालय: ग्रामीण विकास मंत्रालय। 
  • उद्देश्य: गरीबी रेखा से नीचे (BPL) जीवन यापन करने वाले ग्रामीण लोगों को आवास इकाइयों के निर्माण तथा मौजूदा अनुपयोगी कच्चे मकानों के उन्नयन में पूर्ण अनुदान के रूप में सहायता प्रदान करना। 
  • लाभार्थी: अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति, मुक्त बंधुआ मज़दूर और गैर-अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति वर्ग के लोग, युद्ध में मारे गए रक्षा कर्मियों की विधवाएँ या उनके निकट संबंधी, पूर्व सैनिक और अर्द्धसैनिक बलों के सेवानिवृत्त सदस्य, विकलांग व्यक्ति और अल्पसंख्यक। 
  • लाभार्थियों का चयन: सामाजिक-आर्थिक जाति जनगणना 2011, ग्राम सभा और जियो-टैगिंग जैसे तीन-चरणीय सत्यापन के माध्यम से। 
  • लागत साझाकरण: मैदानी क्षेत्रों के मामले में केंद्र और राज्य 60:40 के अनुपात में लागत साझा करते हैं तथा पूर्वोत्तर राज्यों, दो हिमालयी राज्यों और जम्मू-कश्मीर संघ राज्य क्षेत्र के मामले में 90:10 के अनुपात में लागत साझा करते हैं। 
    • केंद्रशासित प्रदेश लद्दाख सहित अन्य केंद्रशासित प्रदेशों के मामले में केंद्र 100% लागत वहन करता है।

प्रधानमंत्री आवास योजना - शहरी (PMAY-U): 

  • शुभारंभ: 25 जून 2015 को प्रारंभ की गई इस योजना का उद्देश्य वर्ष 2022 तक शहरी क्षेत्रों में सभी के लिये आवास उपलब्ध कराना था। 
  • संबंधित मंत्रालय: आवास एवं शहरी मामलों का मंत्रालय 
  • स्थिति: कुल 118.64 लाख मकान स्वीकृत किये गए हैं तथा 88.02 लाख से अधिक मकान बनकर तैयार हो चुके हैं/लाभार्थियों को वितरित किये जा चुके हैं।
  • विशेषताएँ: 
    • पात्र शहरी गरीबों के लिये पक्का मकान सुनिश्चित करके झुग्गीवासियों सहित शहरी गरीबों के बीच शहरी आवास की कमी को दूर करना।
    • मिशन में संपूर्ण शहरी क्षेत्र शामिल है, जिसमें सांविधिक शहर, अधिसूचित योजना क्षेत्र, विकास प्राधिकरण, विशेष क्षेत्र विकास प्राधिकरण, औद्योगिक विकास प्राधिकरण या राज्य विधान के तहत शहरी नियोजन और विनियमन के कार्य सौंपे गए प्राधिकरण शामिल हैं। 
    • मिशन महिला सदस्यों के नाम पर या संयुक्त नाम पर मकान का स्वामित्व प्रदान करके महिला सशक्तीकरण को बढ़ावा देता है।