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जनजातीय विकास रिपोर्ट 2022 | 02 Dec 2022 | सामाजिक न्याय

प्रिलिम्स के लिये:

जनजातीय विकास रिपोर्ट 2022, अनुसूचित जनजाति, एकलव्य मॉडल आवासीय विद्यालय, ट्राइफेड (TRIFED)।

मेन्स के लिये:

जनजातियों से संबंधित नवीनतम सरकारी पहल।

चर्चा में क्यों?

हाल ही में भारत ग्रामीण आजीविका फाउंडेशन (Bharat Rural Livelihood Foundation- BRLF) द्वारा जनजातीय विकास रिपोर्ट 2022 जारी की गई, जिसके बारे में संगठन का दावा है कि यह वर्ष 1947 के बाद से अपनी तरह की पहली रिपोर्ट है।

रिपोर्ट के प्रमुख बिंदु:

जनजातियों से संबंधित सरकारी पहल:

 UPSC सिविल सेवा परीक्षा विगत वर्ष के प्रश्न : 

प्रश्न: भारत के संविधान की किस अनुसूची के तहत आदिवासी भूमि का खनन के लिये निजी पक्षकारों को अंतरण अकृत और शून्य घोषित किया जा सकता है? (2019)

(a) तीसरी अनुसूची
(b) पाँचवी अनुसूची
(c) नौवीं अनुसूची
(d) बारहवीं अनुसूची

उत्तर: (b)

व्याख्या:

  • अनुसूचित क्षेत्रों में खनिज रियायतों का अनुदान अनुसूचित क्षेत्रों और जनजातीय क्षेत्रों के प्रशासन से संबंधित संविधान की पाँचवी और छठी अनुसूचियों के साथ-साथ अनुच्छेद 244 में निहित प्रावधानों तथा पंचायत (अनुसूचित क्षेत्रों तक विस्तार) अधिनियम, 1996 और अनुसूचित जनजाति और परंपरागत वन निवासी (वन अधिकारों की मान्यता) अधिनियम, 2006 या आदिवासियों के हितों की रक्षा करने वाले अन्य प्रासंगिक वैधानिक अधिनियम के प्रावधानों द्वारा निर्देशित है।
  • पाँचवी अनुसूची के तहत राज्यपाल सार्वजनिक अधिसूचना द्वारा यह निर्देश दे सकते हैं कि संसद या राज्य के विधानमंडल का कोई विशेष अधिनियम राज्य में अनुसूचित क्षेत्र या उसके किसी हिस्से पर लागू होगा या नहीं होगा।
  • इस प्रकार पाँचवी अनुसूची के तहत आदिवासी भूमि का खनन करने के लिये निजी पक्षकारों को अंतरण अकृत और शून्य घोषित किया जा सकता है।

अतः विकल्प (b) सही है।


प्रश्न. आप उन आँकड़ों की व्याख्या कैसे करते हैं जो दिखाते हैं कि भारत में जनजातियों में लिंगानुपात अनुसूचित जातियों के लिंगानुपात की तुलना में महिलाओं के लिये अधिक अनुकूल है? (मुख्य परीक्षा, 2015)

स्रोत: डाउन टू अर्थ