हरियाणा सेवा का अधिकार अधिनियम, 2014 | 07 Feb 2024

चर्चा में क्यों?

हरियाणा सेवा का अधिकार आयोग (HRTSC) के मुख्य आयुक्त के अनुसार, सेवा का अधिकार अधिनियम, 2014 के तहत शुरू की गई ऑटो अपील प्रणाली (AAS) नागरिकों को सेवा वितरण में पारदर्शिता एवं जवाबदेही सुनिश्चित करने में एक गेम चेंजर है।

मुख्य बिंदु:

  • HRTSC ने चंडीगढ़ स्थित इंस्टीट्यूट फॉर डेवलपमेंट एंड कम्युनिकेशन (IDC) द्वारा आयोजित एक विस्तृत अध्ययन "हरियाणा सेवा का अधिकार अधिनियम 2014 के कार्यान्वयन का तुलनात्मक मूल्यांकन" के निष्कर्षों की समीक्षा की।
  • IDC अध्ययन से पता चलता है कि हरियाणा एक मज़बूत शिकायत निवारण मंच प्रदान करके एक अग्रणी राज्य के रूप में उभरा है। HRTSC द्वारा ऑटो अपील तंत्र का प्रभावी कार्यान्वयन और दोषी अधिकारी पर ज़ुर्माना लगाने से नागरिकों को परेशानी मुक्त सेवाएँ सुनिश्चित हो रही हैं।
  • सार्वजनिक सेवाओं की समय पर और पारदर्शी उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिये, मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने 1 सितंबर, 2021 को AAS लॉन्च किया।
    • AAS लॉन्च होने से पहले, सेवा वितरण में देरी की स्थिति में अपील को मैन्युअल रूप से दाखिल करने का प्रावधान था। हालाँकि, यह बोझिल था, जिसके कारण नागरिक अपील दायर करने के लिये आगे नहीं आ रहे थे।
  • अब यदि किसी व्यक्ति का कार्य समय पर नहीं होता है और वह कार्य सेवा का अधिकार कानून के दायरे में आता है तो AAS के तहत आवेदन अपीलीय प्राधिकारी के पास जाता है।
    • अगर कोई कार्य नहीं हुआ तो आवेदन उच्च अधिकारी के पास चला जाता है। फिर भी अगर इन दोनों स्तरों पर कार्य नहीं होता है तो आवेदन स्वत: आयोग के पास चला जाता है।
  • इस अध्ययन के मुख्य निष्कर्षों से पता चला कि लाभार्थियों में से 73% को अनुरोध के अनुसार सेवा प्राप्त हुई और 46% लाभार्थी समग्र आवेदन प्रक्रिया से संतुष्ट थे।
  • इन निष्कर्षों में यह भी बताया गया है कि AAS ने अपील प्रणाली को कागज़ रहित बना दिया है और नागरिकों द्वारा पहले उठाए जाने वाले कानूनी बोझ एवं अपनी जेब से होने वाली लागत को कम कर दिया है।

हरियाणा सेवा का अधिकार अधिनियम, 2014

  • इसे पारदर्शिता और जवाबदेही को बढ़ावा देने के लिये हरियाणा राज्य के तहत विभिन्न सरकारी विभागों द्वारा प्रदान की जा रही सेवाओं की समयबद्ध उपलब्धता के लिये एक प्रभावी ढाँचा प्रदान करने के एकमात्र उद्देश्य से अधिनियमित किया गया था।
  • इस अधिनियम ने लोगों को एक प्रभावी सेवा वितरण तंत्र के माध्यम से परेशानी मुक्त, पारदर्शी और समयबद्ध तरीके से सेवाओं का अधिकतम लाभ प्राप्त करने का अधिकार दिया है।
  • निर्धारित समय-सीमा के भीतर और बिना किसी परेशानी के प्रदान की जाने वाली सेवाएँ सरकारी कामकाज की विश्वसनीयता को बढ़ाएँगी। इससे सरकार द्वारा सेवाएँ प्रदान करने के संबंध में लोगों की अधिकतम अपेक्षाएँ भी पूरी होंगी।