उम्मीद पोर्टल | 12 Dec 2025

स्रोत: पी.आई.बी 

अल्पसंख्यक कार्य मंत्रालय ने 6 जून 2025 को मौजूदा वक्फ संपत्तियों के प्रमाणित डेटा को अपलोड करने के लिये यूनिफाइड वक्फ मैनेजमेंट, एम्पावरमेंट, एफिशिएंसी एंड डेवलपमेंट (UMEED) पोर्टल लॉन्च किया।

  • वर्तमान वक्फ संपत्तियों के प्रमाणित डेटा को अपलोड करने के लिये छह महीने की अवधि दी गई थी, जो अब 6 दिसंबर 2025 को समाप्त हो गई है।
  • उम्मीद पोर्टल: यह पूरे भारत में वक्फ संपत्तियों के पंजीकरण और नियमन के लिये डिज़ाइन किया गया एक केंद्रीकृत डिजिटल प्लेटफॉर्म है।
  • उम्मीद पोर्टल की विशेषताएँ:
    • पंजीकरण के दौरान संपत्तियों में सटीक माप और भौगोलिक स्थान डेटा शामिल किया जाएगा।
    • समय सीमा के बाद पंजीकृत न की गई संपत्तियों को विवादित के रूप में चिह्नित किया जाएगा और उन्हें वक्फ ट्रिब्यूनल भेजा जाएगा।
    • संशोधित कानून के तहत लाभार्थियों के अधिकार स्पष्ट करने के लिये कानूनी जागरूकता उपकरण प्रदान किये जाएंगे।
    • महिलाओं के नाम पर पंजीकृत संपत्तियों को वक्फ के रूप में नामित नहीं किया जा सकता, लेकिन महिलाएँ, बच्चे और अति-निम्न आय वर्ग (EWS) अभी भी पात्र लाभार्थी बने रहेंगे।
  • WAMSI (पुरानी प्रणाली): विगत वक्फ संपत्ति डिजिटलीकरण प्रणाली, जो त्रुटियों, डुप्लीकेट प्रविष्टियों और असंगत डेटा के लिये जानी जाती थी, को औपचारिक रूप से 8 मई 2025 को बंद कर दिया गया।
  • वक्फ: वक्फ इस्लामी कानून के तहत एक स्थायी दानधर्मीय निधि है, जिसमें संपत्ति को धार्मिक या सार्वजनिक कल्याण के उद्देश्यों के लिये दान किया जाता है।
    • इसे बेचा, विरासत में नहीं दिया जा सकता या स्थानांतरित नहीं किया जा सकता।

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