Rapid Fire (करेंट अफेयर्स): 20 अगस्त, 2021 | 20 Aug 2021

डॉ. शंकर दयाल शर्मा

19 अगस्त, 2021 को राष्‍ट्रपति रामनाथ कोविंद ने पूर्व राष्‍ट्रपति डॉक्‍टर शंकर दयाल शर्मा को उनकी जयंती पर श्रद्धांजलि अर्पित की। एक अनुभवी स्वतंत्रता सेनानी, वकील और राजनीतिज्ञ डॉ. शंकर दयाल शर्मा का जन्म 19 अगस्त, 1918 को भोपाल (मध्य प्रदेश) में हुआ था। उन्होंने अपनी उच्च शिक्षा आगरा और लखनऊ विश्वविद्यालयों से प्राप्त की, इसके पश्चात् उन्होंने ‘कैम्ब्रिज विश्वविद्यालय’ से विधि (कानून) में डॉक्टरेट की उपाधि प्राप्त की। वर्ष 1940 में लखनऊ में उन्होंने वकील के तौर पर प्रैक्टिस शुरू की, जिसके कुछ समय पश्चात् वे काॅन्ग्रेस में शामिल हो गए। भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन में सक्रिय रूप से भाग लेने के कारण उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया और वे लगभग आठ महीनों तक जेल में रहे। वर्ष 1947 में स्वतंत्रता प्राप्ति के बाद डॉ. शंकर दयाल शर्मा स्वतंत्र भारत के राजनीतिक वातावरण में और अधिक सक्रिय हो गए और उन्होंने राज्य तथा राष्ट्रीय स्तर पर कई महत्त्वपूर्ण राजनीतिक पदों पर कार्य किया। डॉ. शंकर दयाल शर्मा ने वर्ष 1992 से वर्ष 1997 तक देश के नौवें राष्ट्रपति के तौर पर कार्य किया, उन्हें वर्ष 1984 में आंध्र प्रदेश का राज्यपाल नियुक्त किया गया था। 26 दिसंबर, 1999 को नई दिल्ली में 81 वर्ष की उम्र में डॉ. शंकर दयाल शर्मा का निधन हो गया।

भारत-बांग्लादेश आपदा प्रबंधन समझौता

प्रधानमंत्री की अध्यक्षता में केंद्रीय मंत्रिमंडल ने भारत और बांग्लादेश के बीच आपदा प्रबंधन, सहनीयता और शमन के क्षेत्र में सहयोग पर समझौता ज्ञापन (MoU) को मंज़ूरी दे दी है। इस समझौता ज्ञापन के तहत एक ऐसी प्रणाली स्थापित करने का प्रयास किया जाएगा, जिससे भारत और बांग्लादेश एक-दूसरे की आपदा प्रबंधन व्यवस्था से लाभान्वित हो सकेंगे। इससे आपदा प्रबंधन के क्षेत्र में तैयारी, त्वरित बचाव व राहत कार्य एवं क्षमता निर्माण को मज़बूती प्रदान करने में सहायता मिलेगी। इस समझौते की प्रमुख विशेषताओं में त्वरित बचाव व राहत कार्य, पुनर्निर्माण और रिकवरी हेतु समर्थन; प्रासंगिक जानकारी, रिमोट सेंसिंग डेटा तथा अन्य वैज्ञानिक डेटा का आदान-प्रदान करना; त्वरित बचाव व राहत कार्य के अनुभव/सर्वोत्तम प्रथाओं को साझा करना; आपदा प्रबंधन के क्षेत्र में अधिकारियों के प्रशिक्षण का समर्थन करना; दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय रूप से संयुक्त आपदा प्रबंधन अभ्यास आयोजित करना; आपदा सहनीय समुदाय बनाने के लिये मानक, नवीनतम तकनीक और उपकरण साझा करना आदि शामिल हैं। इस समझौते में भारत की ओर से ‘राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण’ (NDMA) और बांग्लादेश की ओर से ‘आपदा प्रबंधन और राहत मंत्रालय’ शामिल हैं। 

विश्व मानवता दिवस 

प्रतिवर्ष 19 अगस्त को दुनिया भर में ‘विश्व मानवतावादी दिवस’ या ‘विश्व मानवता दिवस’ (World Humanitarian Day) का आयोजन किया जाता है। यह दिन उन लोगों की स्मृति में मनाया जाता है जिन्होंने विश्व स्तर पर मानवतावादी संकट में अपनी जान गंवाई या मानवीय उद्देश्यों के कारण दूसरों की सहायता हेतु अपने जीवन का सर्वोच्च बलिदान दिया है। ‘विश्व मानवतावादी दिवस’ उस घटना को भी चिह्नित करता है, जब 19 अगस्त, 2003 को बगदाद में संयुक्त राष्ट्र मुख्यालय पर बमबारी में इराक के महासचिव के तत्कालीन विशेष प्रतिनिधि ‘सर्जियो विएरा डी मेलो’ और 21 सहायता कर्मियों की मृत्यु हो गई थी। इस घटना के बाद वर्ष 2009 में संयुक्त राष्ट्र महासभा ने 19 अगस्त को विश्व मानवतावादी दिवस के रूप में नामित करने के लिये एक प्रस्ताव अपनाया। वर्ष 2021 के लिये इस दिवस की थीम है- ‘द ह्यूमन रेस’ (The Human Race)। 

भारत-ऑस्ट्रेलिया नौसेना के लिये 'जॉइंट गाइडेंस’ दस्तावेज़

भारतीय और ऑस्ट्रेलियाई नौसेनाओं के प्रमुखों ने हाल ही में दोनों सेनाओं के बीच विभिन्न स्तरों पर बातचीत को कारगर बनाने के लिये एक मार्गदर्शन दस्तावेज़ पर हस्ताक्षर किये हैं। ‘जॉइंट गाइडेंस फॉर द ऑस्ट्रेलिया-इंडिया नेवी टू नेवी रिलेशनशिप’ नामक इस दस्तावेज़ के माध्यम से दोनों देशों की नौसेना के बीच समन्वय स्थापित करने में मदद मिलेगी। यह दस्तावेज़ दोनों देशों के प्रधानमंत्रियों द्वारा सहमत '2020 व्यापक रणनीतिक साझेदारी' से जोड़ा गया है। इसका उद्देश्य क्षेत्रीय और वैश्विक सुरक्षा चुनौतियों के लिये साझा दृष्टिकोण सुनिश्चित करना है। गौरतलब है कि अमेरिका और जापान के साथ ऑस्ट्रेलिया तथा भारत चार देश ‘चतुर्भुज सुरक्षा संवाद’ या क्वाड का हिस्सा हैं, जिसका उद्देश्य 'मुक्त, स्वतंत्र और समृद्ध' भारत-प्रशांत क्षेत्र सुनिश्चित करना है। यह 'जॉइंट गाइडेंस’ दस्तावेज़ दोनों देशों की नौसेनाओं के द्विपक्षीय संबंधों को और मज़बूत करने हेतु दिशा-निर्देश दस्तावेज़ के रूप में कार्य करेगा। दस्तावेज़ की प्रमुख विशेषताओं में ‘हिंद महासागर नौसेना संगोष्ठी’ (IONS), ‘पश्चिमी प्रशांत नौसेना संगोष्ठी’ (WPNS), ‘हिंद महासागर रिम एसोसिएशन’ (IORA) और ‘आसियान रक्षा मंत्रियों की बैठक- प्लस’ के अधीनस्थ विशेषज्ञ कार्य समूहों सहित विभिन्न क्षेत्रीय एवं बहुपक्षीय मंचों में घनिष्ठ सहयोग स्थापित करना है।