उत्तर-पूर्व उद्यमिता कोष | 20 Jan 2021

चर्चा में क्यों?

हाल ही में पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास मंत्रालय (DoNER) ने उत्तर-पूर्व उद्यमिता कोष (North East Venture Fund- NEVF) योजना पर एक अपडेट जारी किया है।

प्रमुख बिंदु

फंड के संबंध में:

  • उत्तर-पूर्व उद्यमिता कोष योजना की शुरुआत पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास मंत्रालय (DoNER) के सहयोग से उत्तर-पूर्वी विकास वित्त निगम लिमिटेड (NEDFi) द्वारा सितंबर 2017 में की गई थी।
  • NEVF पूर्वोत्तर क्षेत्र का पहला और एकमात्र समर्पित उद्यमिता कोष है।
    • उधमिता पूंजी, निजी इक्विटी का एक प्रकार है  जिसके तहत निवेशकों द्वारा उन स्टार्टअप कंपनियों और छोटे व्यवसायों का वित्तपोषण किया जाता है जिनके बारे में माना जाता है कि उनमें दीर्घकालिक विकास क्षमता है। उधमिता पूंजी की व्यवस्था आमतौर पर प्रतिष्ठित निवेशकों, निवेश बैंकों और किसी भी अन्य वित्तीय संस्थानों द्वारा की जाती है।
  • उत्तर-पूर्व उद्यमिता कोष की स्थापना 100 करोड़ रुपए की शुरुआती धनराशि के साथ की गई थी।
  • उद्देश्य:
    • इसका उद्देश्य पूर्वोत्तर क्षेत्र में व्यावसायिक गतिविधियों और कौशल विकास को बढ़ावा देना है।
    • इसके अलावा नए उद्यमियों को संसाधन प्रदान करने के उद्देश्य से स्टार्ट-अप और नए व्यावसायिक अवसरों में निवेश करना है।
    • उत्तर-पूर्व उद्यमिता कोष का मुख्य ध्यान ज़्यादातर खाद्य प्रसंस्करण, हेल्थ केयर, पर्यटन, सेवाओं के पृथक्करण, आईटी आदि के क्षेत्र में शामिल उद्यमों पर है।
  • धन की सीमा:
    • इस उद्यमिता कोष योजना में पाँच से दस साल की लंबी अवधि वाली समय-सीमा के साथ निवेश की राशि 25 लाख रुपए से लेकर10 करोड़ रुपए के बीच होती है।

पूर्वोत्तर क्षेत्र के विकास के लिये अन्य पहलें:

  • उत्तर-पूर्व ग्रामीण आजीविका परियोजना (NELRP):
    • इसकी शुरुआत वर्ष 2012 में की गई थी। NERLP एक विश्व बैंक सहायता प्राप्त, बहु-राज्य परियोजना है जो पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास मंत्रालय (DoNER) के अधीन है।
    • इस परियोजना को मिज़ोरम, नगालैंड, त्रिपुरा तथा सिक्किम के 11 ज़िलों में लागू किया गया था।
    • इसका उद्देश्य चार पूर्वोत्तर राज्यों के ग्रामीण इलाकों में महिलाओं, बेरोज़गार युवकों और वंचितों की आजीविका में सुधार लाना है।
    • इस परियोजना में मुख्य रूप से सामाजिक सशक्तीकरण, आर्थिक सशक्तीकरण, साझेदारी विकास परियोजना प्रबंधन तथा आजीविका एवं मूल्य शृंखला विकास पर ध्यान दिया गया है।
  • उत्तर-पूर्वी क्षेत्र विज़न 2020 दस्तावेज़ (North Eastern Region Vision 2020 Document) उत्तर-पूर्वी क्षेत्र के विकास के लिये एक व्यापक रूपरेखा प्रदान करता है।
  • उत्तर-पूर्व क्षेत्र में विज्ञान और प्रौद्योगिकी हस्तक्षेप (STINER):
    • STINER का उद्देश्य शैक्षिक, वैज्ञानिक और अनुसंधान संस्थानों के माध्यम से विकसित प्रासंगिक प्रौद्योगिकियों को कारीगरों और किसानों खासकर महिलाओं तक पहुँचाना है।
  • उत्तर-पूर्वी क्षेत्र विद्युत प्रणाली सुधार परियोजना (NERPSIP):
    • इस परियोजना को दिसंबर 2014 में विद्युत मंत्रालय की एक केंद्रीय क्षेत्रक योजना के रूप में मंज़ूरी प्रदान की गई थी।
    • इस परियोजना का मुख्य उद्देश्य उत्तर-पूर्वी क्षेत्र के समग्र आर्थिक विकास को बढ़ावा देना और इस क्षेत्र में अंतर-राज्‍यीय ट्रांसमिशन एवं वितरण संरचना को मज़बूत बनाना है।
  • डेस्टिनेशन नॉर्थ ईस्ट फेस्टिवल (Destination North East festival):
    • इस कार्यक्रम का उद्देश्य पूर्वोत्तर भारत का शेष भारत के साथ संपर्क एवं संबंध स्थापित करना है। यह कार्यक्रम मुख्य रूप से पर्यटन पर केंद्रित है। इस कार्यक्रम में पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास मंत्रालय, पूर्वोत्तर परिषद, उत्तर-पूर्वी क्षेत्र सामुदायिक संसाधन प्रबंधन परियोजना (NERCORMP) और कृषि विकास के लिये अंतर्राष्ट्रीय कोष (IFAD) संयुक्त रूप से कार्य कर रहे हैं।

स्रोत: PIB