राष्ट्रीय वार्षिक ग्रामीण स्वच्छता सर्वेक्षण- 2017-18 | 28 Mar 2018

संदर्भ 
विश्व बैंक समर्थित स्वच्छ भारत मिशन परियोजना के अंतर्गत एक स्वंतत्र सर्वेक्षण एजेंसी द्वारा किये गए राष्ट्रीय वार्षिक ग्रामीण स्वच्छता सर्वेक्षण (National Annual Rural Sanitation Survey-NARSS) 2017-18 में ग्रामीण क्षेत्रों में शौचालय का उपयोग 93.4% होने की पुष्टि हुई है। इसका मतलब है कि जिन घरों में शौचालय उपलब्ध हैं, उनमें से 93.4% घरों में इसका उपयोग भी किया जाता है।

प्रमुख बिंदु 

  • यह सर्वेक्षण मध्य-नवंबर 2017 और मध्य-मार्च 2018 के बीच किया गया और इसके अंतर्गत 6136 गाँवों के 92,040 घरों का स्वच्छता संबंधी विषयों पर सर्वेक्षण किया गया। सर्वेक्षण के अंतर्गत गाँवों के स्कूल, आंगनवाड़ी एवं सामुदायिक शौचालयों का भी सर्वेक्षण किया गया।
  • सर्वेक्षण का संपूर्ण कार्य कंप्यूटर सहायतित व्यक्तिगत साक्षात्कार (Computer Assisted Personal Interviewing-CAPI) नामक प्लेटफॉर्म के माध्यम से संपादित किया गया।
  • इस सर्वेक्षण के परिणाम स्वतंत्र सर्वेक्षण एजेंसी द्वारा राष्ट्रीय वार्षिक ग्रामीण स्वच्छता सर्वेक्षण के प्रबंधन हेतु गठित एक्सपर्ट वर्किंग ग्रुप (EWG) के समक्ष प्रस्तुत किये गए।
  • EWG में विश्व बैंक, यूनिसेफ, बिल एंड मेलिंडा गेट्स फाउंडेशन, इंडिया सैनिटेशन कोअलिशन, सुलभ इंटरनेशनल, नॉलेज लिंक्स समेत नीति आयोग एवं सांख्यिकी और कार्यक्रम कार्यान्वयन मंत्रालय सदस्य हैं।

राष्ट्रीय वार्षिक ग्रामीण स्वच्छता सर्वेक्षण के मुख्य परिणाम

  • सर्वेक्षण किये गए 77% घरों में शौचालय की सुविधा पाई गई।
  • शौचालय की सुविधा वाले घरों में से 93.4% में शौचालय का उपयोग किया जाता है।
  • सर्वेक्षण किये गए खुले में शौच से मुक्त घोषित एवं सत्यापित गाँवों में से 95.6% के खुले में शौच से मुक्त होने की पुष्टि हुई है। 
  • सर्वेक्षण किये गए गाँवों में से 70% में ठोस तथा तरल अपशिष्ट की न्यूनतम मात्रा पाई गई।

स्वच्छ भारत मिशन (Swachh Bharat Misson)

  • 2 अक्तूबर, 2014 को गांधी जयंती के अवसर पर ‘स्वच्छ भारत मिशन’ की शुरुआत की गई थी।
  • SBM का उद्देश्य 2 अक्टूबर, 2019 तक खुले में शौच से मुक्त (ओडीएफ) राष्ट्र और स्वच्छ भारत का निर्माण करना है।
  • ओडीएफ परिणामों की उपलब्धि के लिये व्यवहार परिवर्तन पर प्राथमिक ध्यान देना एक मौलिक कार्य है। स्वच्छ भारत मिशन (जो केंद्र सरकार के विशालतम स्वच्छता कार्यक्रम का हिस्सा है) को शहरी तथा ग्रामीण मिशन के रूप में विभाजित किया गया है।
  • स्वच्छ भारत मिशन के 6 प्रमुख घटक हैं-
    ♦ व्यक्तिगत घरेलू शौचालय 
    ♦ सामुदायिक शौचालय
    ♦ सार्वजनिक शौचालय
    ♦ नगरपालिका ठोस अपशिष्ट प्रबंधन 
    ♦ सूचना एवं शिक्षित संचार (IEC) और सार्वजनिक जागरूकता
    ♦ क्षमता निर्माण
  • स्वच्छ भारत मिशन ने अब तक करोड़ों लोगों के व्यवहार परिवर्तन करने में सफलता हासिल की है।
  • स्वच्छ भारत मिशन के प्रारंभ से अब तक करोड़ों लोगों ने अपने शौचालय का निर्माण किया है और उसका नियमित इस्तेमाल कर रहे हैं।
  • अब तक 6.5 करोड़ शौचालयों का निर्माण कराया जा चुका है और 3.38  लाख गाँव और 338 ज़िले अब तक खुले में शौच से मुक्त घोषित किये जा चुके हैं।
  • 9 राज्य और 3 केंद्र शासित प्रदेश- सिक्किम, हिमाचल प्रदेश, केरल, हरियाणा, उत्तराखंड, गुजरात, अरुणाचल प्रदेश, छत्तीसगढ़, मेघालय, चंडीगढ़, दमन और दीव एवं दादरा और नगर हवेली खुले में शौच मुक्त घोषित किये जा चुके हैं।