भारत स्थित न्यूट्रीनो वेधशाला को NGT का समर्थन (environmental clearance to INO) | 05 Nov 2018

चर्चा में क्यों?

राष्ट्रीय हरित प्राधिकरण (National Green Tribunal- NGT) ने भारत स्थित न्यूट्रीनो वेधशाला (India-based Neutrino Observatory- INO) को दी जाने वाली पर्यावरण संबंधी मंज़ूरी का समर्थन किया है।

पृष्ठभूमि

  • मार्च, 2018 में पर्यावरण और वन मंत्रालय की विशेषज्ञ मूल्यांकन समिति ने इस परियोजना को मंज़ूरी दी थी लेकिन विशेषज्ञ मूल्यांकन समिति द्वारा दी गई मंज़ूरी को इस आधार पर चुनौती दी गई थी कि परियोजना के नियमों और वर्गीकरण के अनुसार, इस परियोजना का आकलन तमिलनाडु के राज्य पर्यावरण प्रभाव आकलन प्राधिकरण (State Environment Impact Assessment Authority -SEIAA) द्वारा किया जाना चाहिये था न कि पर्यावरण और वन मंत्रालय की विशेषज्ञ मूल्यांकन समिति द्वारा।
  • लेकिन संयोगवश, SEIAA ने परियोजना का आकलन करने से इनकार कर दिया तथा इसे पर्यावरण और वन मंत्रालय की विशेषज्ञ मूल्यांकन समिति को संदर्भित कर दिया।
  • हाल ही में NGT ने विशेषज्ञ मूल्यांकन समिति द्वारा की गई इस परियोजना के पर्यावरणीय आकलन को सही ठहराते हुए याचिका को ख़ारिज कर दिया।
  • यह दूसरी बार है जब INO का मामला राष्ट्रीय हरित प्राधिकरण के समक्ष पहुँचा इससे पहले NGT की चेन्नई खंडपीठ ने 2011 में दी गई पर्यावरण मंज़ूरी को इसलिये निलंबित कर दिया था क्योंकि यह परियोजना इडुक्की जिले के मथिकेत्तन शोला नेशनल पार्क के 5 किमी. के क्षेत्र के अंतर्गत आती थी और उस समय राष्ट्रीय वन्य जीव बोर्ड के समक्ष मंज़ूरी के लिये कोई आवेदन नहीं किया गया था। तब NGT ने परियोजना को राष्ट्रीय वन्यजीव बोर्ड के अनुमोदन के साथ पर्यावरण मंज़ूरी लेने का निर्देश दिया था।

INO क्या है?

  • भारत स्थित न्यूट्रीनो वेधशाला (INO) एक बड़ी वैज्ञानिक परियोजना है।
  • इसका उद्देश्य न्यूट्रीनो नामक कणों का अध्ययन करना है। न्यूट्रीनो मूल कण होते हैं जिनका सूर्य, तारों एवं वायुमंडल में प्राकृतिक रुप से निर्माण होता है
  • INO की योजना न्यूट्रीनो भौतिकी के क्षेत्र में प्रयोगों के लिये छात्रों को विश्व स्तरीय अनुसंधान सुविधा प्रदान करने की है।

INO परियोजना के लाभ

  • INO परियोजना से वैज्ञानिक मानवशक्ति में वृद्धि होगी जिससे संपूर्ण देश को लाभ होगा।
  • INO ने आवश्यकता के अनुसार अपनी डिज़ाइन व विकास के लिये अत्याधुनिक तकनीकों को अपनाया है। इससे ऐसी पीढ़ी सामने आएगी जो देश को तकनीकी रुप से अधिक मज़बूत बनाएगी।
  • INO में प्रयुक्त संसूचकों (detectors) का चिकित्सीय प्रतिबिंबन जैसे क्षेत्रों में भी प्रयोग होता है। इस तरह की परियोजना से विभिन्न क्षेत्रों में आपसी संपर्क बढ़ेगा व मानव जाति को लाभ होगा।

राष्ट्रीय हरित प्राधिकरण

  • पर्यावरण से संबंधित किसी भी कानूनी अधिकार के प्रवर्तन तथा व्यक्तियों एवं संपत्ति के नुकसान के लिये सहायता और क्षतिपूर्ति देने या उससे संबंधित या उससे जुड़े मामलों सहित, पर्यावरण संरक्षण एवं वनों तथा अन्य प्राकृतिक संसाधनों के संरक्षण से संबंधित मामलों के प्रभावी और शीघ्रगामी निपटारे के लिये राष्ट्रीय हरित अधिकरण अधिनियम 2010 के अंतर्गत 18.10.2010 को राष्ट्रीय हरित अधिकरण की स्थापना की गई।
  • यह एक विशिष्ट निकाय है जो बहु-अनुशासनात्मक समस्याओं वाले पर्यावरणीय विवादों के निपटान के लिये आवश्यक विशेषज्ञता द्वारा सुसज्जित है।
  • अधिकरण, सिविल प्रक्रिया संहिता, 1908 के अंतर्गत निर्धारित प्रक्रिया द्वारा बाध्य नहीं है, लेकिन इसे नैसर्गिक न्याय के सिद्धांतों द्वारा निर्देशित किया जाता है।