एंटी-डंपिंग ड्यूटी | 06 Jul 2021

प्रिलिम्स के लिये:

एंटी-डंपिंग ड्यूटी, काउंटर वेलिंग ड्यूटी और एंटी-डंपिंग ड्यूटी के बीच अंतर

मेन्स के लिये:

एंटी-डंपिंग ड्यूटी’ से संबंधित विश्व व्यापार संगठन के प्रावधान

चर्चा में क्यों?

हाल ही में भारत सरकार ने चीन, थाईलैंड, कोरिया और तीन अन्य देशों से तांबे के कुछ उत्पादों के आयात पर एंटी-डंपिंग ड्यूटी (Anti-Dumping Duty- ADD) नहीं लगाने का फैसला किया है।

प्रमुख बिंदु:

संदर्भ:

  • अप्रैल में व्यापार उपचार महानिदेशालय (DGTR) ने एक जाँच के बाद चीन, कोरिया, मलेशिया, नेपाल, श्रीलंका और थाईलैंड से "कॉपर और कॉपर अलॉय फ्लैट-रोल्ड उत्पादों" के आयात पर शुल्क लगाने की सिफारिश की।
  • हालाँकि वित्त मंत्रालय इन सिफारिशों को लागू करने के लिये अंतिम निर्णय लेता है और उसी के आधार पर अधिसूचना जारी करता है।

डंपिंग:

  • एंटी-डंपिंग ड्यूटी (अवधारणा):
    • डंपिंग का अभिप्राय किसी देश के निर्माता द्वारा किसी उत्पाद को या तो इसकी घरेलू कीमत से नीचे या उत्पादन लागत से कम कीमत पर किसी दूसरे देश में निर्यात करने से है।
    • यह एक अनुचित व्यापार प्रथा है जिसका अंतर्राष्ट्रीय व्यापार पर विकृत प्रभाव पड़ सकता है।
  • उद्देश्य:
    • एंटी-डंपिंग शुल्क डंपिंग को रोकने और अंतर्राष्ट्रीय व्यापार व्यवस्था में समानता स्थापित करने के लिये लगाया जाता है।
      • लंबी अवधि में एंटी-डंपिंग ड्यूटी समान वस्तुओं का उत्पादन करने वाली घरेलू कंपनियों की अंतर्राष्ट्रीय प्रतिस्पर्द्धा को कम कर सकती है।
    • यह एक संरक्षणवादी टैरिफ है जिसे एक देश की सरकार द्वारा विदेशी आयातों पर लगाया जाता है, जिसका अर्थ है कि इसकी कीमत उचित बाज़ार मूल्य से कम है।
    • विश्व व्यापार संगठन द्वारा उचित प्रतिस्पर्द्धा के साधन के रूप में डंपिंग-रोधी उपायों के उपयोग की अनुमति दी गई है।
  • काउंटर वेलिंग ड्यूटी और एंटी-डंपिंग ड्यूटी के बीच अंतर:
    • ‘एंटी-डंपिंग ड्यूटी’ आयात पर अधिरोपित वह सीमा शुल्क है, जो सामान्य मूल्य से काफी कम कीमतों पर माल की डंपिंग के विरुद्ध सुरक्षा प्रदान करती है, जबकि ‘काउंटर वेलिंग ड्यूटी’ ऐसी वस्तुओं पर अधिरोपित की जाती है, जिन्हें मूल या निर्यात करने वाले देश में सरकारी सब्सिडी प्राप्त हुई है।
  • ‘एंटी-डंपिंग ड्यूटी’ से संबंधित विश्व व्यापार संगठन के प्रावधान:
    • वैधता: एक एंटी-डंपिंग शुल्क इसके लागू होने की तारीख से पाँच वर्ष की अवधि के लिये वैध रहता है, यदि इसे वैधता अवधि से पूर्व रद्द नहीं किया गया हो।
    • ‘सनसेट रिव्यू’: इसे सनसेट या समाप्ति समीक्षा जाँच के माध्यम से पाँच वर्ष की अवधि के लिये और बढ़ाया जा सकता है।
    • सनसेट रिव्यू या समाप्ति समीक्षा का अभिप्राय किसी एक विशिष्ट कार्यक्रम, गतिविधि या एक एजेंसी के निरंतर अस्तित्व में रहने की आवश्यकता और उसके मूल्यांकन से है। यह प्रक्रिया उस विशिष्ट कार्यक्रम या एजेंसी की प्रभावशीलता एवं प्रदर्शन का आकलन करने की अनुमति देती है।
    • इस प्रकार की ‘स्वतः संज्ञान’ के माध्यम से या घरेलू उद्योग अथवा उस घरेलू उद्योग की ओर से प्राप्त विधिवत प्रमाणित अनुरोध के आधार पर इसे शुरू किया जा सकता है।

व्यापार उपचार महानिदेशालय (DGTR)

  • यह सभी डंपिंग-रोधी, काउंटरवेलिंग शुल्क और अन्य व्यापार सुधारात्मक उपायों को लागू करने के लिये वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय के तहत सर्वोच्च राष्ट्रीय प्राधिकरण है।
  • यह घरेलू उद्योग और निर्यातकों को अन्य देशों द्वारा उनके खिलाफ लागू किये गए व्यापार उपायों की जाँच के बढ़ते मामलों से निपटने में सहायता प्रदान करता है।

स्रोत: इंडियन एक्सप्रेस